हिंदू धर्म में Ekadashi व्रत सबसे पवित्र व्रतों में से एक है। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा करने के लिए सबसे पवित्र दिन माना जाता है। इस दिन भगवान विष्णु के भक्त पूरी श्रद्धा और समर्पण के साथ उनकी पूजा करते हैं और कठोर व्रत रखते हैं जो एकादशी तिथि से शुरू होकर द्वादशी तिथि तक चलता है।
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Ekadashi in January 2025: तिथि और समय
वैकुंठ एकादशी 2025: पौष माह (शुक्ल पक्ष)
एकादशी तिथि आरंभ – 9 जनवरी, 2025 – 12:22 अपराह्न
एकादशी तिथि समाप्त – 10 जनवरी 2025 – 10:19 पूर्वाह्न
पारण का समय – 11 जनवरी 2025 – प्रातः 07:14 बजे से प्रातः 08:21 बजे तक
पारण दिवस द्वादशी समाप्ति क्षण – 11 जनवरी 2025 – 08:21 पूर्वाह्न
षटतिला एकादशी 2025: माघ माह (कृष्ण पक्ष)
एकादशी तिथि आरंभ – 24 जनवरी 2025 – 24 जनवरी 2025 को शाम 07:25 बजे तक
एकादशी तिथि समाप्त – 25 जनवरी, 2025 – 25 जनवरी, 2025 को 08:31 PM
पारण समय – 26 जनवरी, 2025 – 07:11 AM से 09:20 AM
पारण दिवस द्वादशी समाप्ति क्षण – 26 जनवरी, 2025 – 08:54 PM
Ekadashi in January 2025: महत्व
Ekadashi का बहुत महत्व है हिंदुओं के बीच इस दिन का धार्मिक और आध्यात्मिक महत्व बहुत अधिक है। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा करने का सबसे पवित्र दिन माना जाता है और जो भक्त पूरी श्रद्धा और विश्वास के साथ उनकी पूजा करते हैं, उन्हें सुख, समृद्धि और अन्य सभी सांसारिक सुखों की प्राप्ति होती है। एकादशी व्रत
एकादशी को आत्मनिरीक्षण, आत्म-परीक्षण और आध्यात्मिक विकास के लिए आदर्श दिन माना जाता है।
भगवान विष्णु, जिन्हें ब्रह्मांड का संरक्षक माना जाता है, की पूजा एकादशी पर की जाती है।
लोकप्रिय मान्यता के अनुसार, एकादशी शुद्धि और सफाई का दिन है, जिसके दौरान अनुयायी अपने मन और हृदय को शुद्ध कर सकते हैं और पिछले अपराधों के लिए क्षमा मांग सकते हैं।
भक्तों का मानना है कि एकादशी एक ऐसा दिन है जब वे मोक्ष या स्वतंत्रता प्राप्त कर सकते हैं। जन्म और मृत्यु के चक्र से मुक्ति।
Ekadashi in January 2025: पूजा अनुष्ठान
उपवास: एकादशी पर, भक्त पूरे दिन खाने-पीने से परहेज करते हैं।
भगवान विष्णु की पूजा: भक्त पूजा, फूल और अन्य प्रसाद चढ़ाते हैं भगवान विष्णु की भावपूर्ण आराधना।
पूजा: एकादशी के दिन विशेष पूजा की जाती है, जिसमें भगवान विष्णु की प्रार्थना और मंत्रों का जाप किया जाता है।
दान: जरूरतमंदों की मदद करने के लिए, भक्त भोजन, कपड़े और अन्य आवश्यक चीजें दान करते हैं। एकादशी व्रत रखने के लाभ
आध्यात्मिक विकास: एकादशी को आत्म-साक्षात्कार और आध्यात्मिक विकास को बढ़ावा देने वाला माना जाता है।
शुद्धि और सफाई: ऐसा कहा जाता है कि एकादशी आत्मा और मन को शुद्ध और पवित्र करने में मदद करती है।
मोक्ष: भक्तों का मानना है कि एकादशी एक ऐसा दिन है जब वे मोक्ष, या जन्म और मृत्यु के चक्र से मुक्ति प्राप्त कर सकते हैं।
भौतिक लाभ: ऐसा भी माना जाता है कि एकादशी मनाने से सौभाग्य, धन और सफलता जैसे भौतिक लाभ प्राप्त होते हैं।
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मंत्र
1. ओम नमो भगवते वासुदेवाय..!!
2. हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे..!!