New Delhi: चूंकि उत्तर प्रदेश के किसान सोमवार को दिल्ली में संसद परिसर तक मार्च करने के लिए तैयार हैं, इसलिए दिल्ली-नोएडा सीमा पर भारी जाम लग गया। किसान महामाया फ्लाईओवर के पास से मार्च शुरू करेंगे और दोपहर 12 बजे पैदल और ट्रैक्टरों पर सवार होकर दिल्ली की ओर बढ़ेंगे। विरोध मार्च में 20 जिलों के किसान शामिल होंगे। किसान नए कृषि कानूनों के आधार पर मुआवजे समेत अपनी पांच मांगों को लेकर दिल्ली जा रहे हैं।
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Delhi-नोएडा पुलिस ने सुरक्षा बढ़ाई
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इस बीच Delhi-नोएडा पुलिस ने सुरक्षा बढ़ा दी है और बैरिकेडिंग लगा दी है। साथ ही नोएडा में पुलिस ने रूट भी डायवर्ट कर दिया है। अपनी विभिन्न मांगों को लेकर कुछ किसान संगठनों द्वारा दिल्ली मार्च करने के आह्वान के मद्देनजर दिल्ली-यूपी चिल्ला सीमा पर तैनात पुलिस और आरएएफ पर, पूर्वी दिल्ली के डीसीपी अपूर्व गुप्ता ने कहा, “हमें कुछ किसान संगठनों के बारे में पहले से जानकारी मिली है संसद सत्र चालू होने के कारण उन्हें इस विरोध प्रदर्शन के लिए दिल्ली में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी गई है। हम यह सुनिश्चित करेंगे कि कोई कानून-व्यवस्था की स्थिति उत्पन्न न हो और हम नोएडा पुलिस के साथ समन्वय कर रहे हैं।
क्या हैं किसानों की मांगें?
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किसान निम्नलिखित मांगों के साथ Delhi की ओर मार्च करने के लिए तैयार हैं:
- 10 प्रतिशत भूखण्डों का आवंटन।
- पुराने अधिग्रहण कानून के तहत मुआवजे में 64.7 प्रतिशत की वृद्धि (बाजार दर से चार गुना)।
- 1 जनवरी 2014 के बाद अर्जित भूमि पर 20 प्रतिशत भूखंड।
- भूमिहीन किसानों के बच्चों को रोजगार और पुनर्वास लाभ।
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