कांग्रेस की ‘पलायन रोको-नौकरी दो’ यात्रा के दौरान शुक्रवार को उस वक्त हंगामा हो गया जब पुलिस ने पूर्व जेएनयू छात्र नेता और कांग्रेस नेता Kanhaiya Kumar समेत कई पार्टी कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया। यह यात्रा युवाओं के रोजगार और बढ़ते पलायन के मुद्दे को लेकर निकाली जा रही थी, जिसका उद्देश्य सरकार पर रोजगार के अवसर सृजित करने का दबाव बनाना था।
यह भी पढ़ें: पटना में वक्फ संशोधन विधेयक के खिलाफ AIMPLB का प्रदर्शन, लालू और तेजस्वी ने दिया समर्थन
यात्रा के दौरान भारी संख्या में कार्यकर्ता सड़क पर जुटे, जिससे यातायात बाधित हुआ और स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को हस्तक्षेप करना पड़ा। कांग्रेस ने इस कार्रवाई को लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन बताते हुए तीव्र विरोध दर्ज कराया है।
Kanhaiya Kumar का आरोप
यात्रा का नेतृत्व कर रहे Kanhaiya Kumar ने आरोप लगाया कि सरकार युवाओं की आवाज दबाने का प्रयास कर रही है और शांतिपूर्ण विरोध को बाधित करके लोकतंत्र की आत्मा को चोट पहुंचाई जा रही है।
पुलिस प्रशासन का कहना है कि यात्रा के दौरान धारा 144 के उल्लंघन और यातायात बाधित करने के चलते कार्रवाई की गई। घटनास्थल पर कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच हल्की झड़प भी देखी गई। इस यात्रा को लेकर कांग्रेस पार्टी ने एक बार फिर केंद्र और राज्य सरकार पर निशाना साधा और इसे युवाओं के भविष्य की लड़ाई बताया।
Kanhaiya Kumar की पदयात्रा में शामिल हुए सचिन पायलट
इससे पहले, कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने शुक्रवार को पटना में आयोजित ‘पलायन रोको, नौकरी दो’ पदयात्रा के समापन कार्यक्रम में भाग लिया, जिसका नेतृत्व Kanhaiya Kumar कर रहे थे। इस यात्रा का उद्देश्य बिहार में बढ़ती बेरोजगारी और मजदूरों के पलायन के मुद्दों को उजागर करना था।
सचिन पायलट ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि बिहार से लाखों की संख्या में हो रहे पलायन को सरकार रोकने में विफल रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य में रोजगार के अवसरों की कमी और भर्ती प्रक्रियाओं में पारदर्शिता की कमी के कारण युवा मजबूर होकर अन्य राज्यों की ओर पलायन कर रहे हैं। पायलट ने कहा, “हम जवाबदेही मांग रहे हैं। युवा हमारे साथ सड़कों पर उतरे हैं। सरकार केवल आंकड़ों के माध्यम से गुमराह कर रही है, जबकि वास्तविकता इससे बहुत अलग है”।
इस पदयात्रा के समापन पर कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपने की योजना बनाई है, जिसमें यात्रा के दौरान विभिन्न जिलों में प्राप्त लोगों की समस्याओं को रेखांकित किया जाएगा। इस पहल को कांग्रेस की आगामी बिहार विधानसभा चुनावों की तैयारी के रूप में भी देखा जा रहा है।
अन्य ख़बरों के लिए यहाँ क्लिक करें