Panipat: मास्क नहीं पहनने पर टोका तो 2 दुकानदारों को मार दी गोली, एक की मौत.
पानीपत: हरियाणा के पानीपत (Panipat) में मास्क (Mask) नहीं लगाने पर टाेकने से खफा सिरफिरे व्यक्ति ने गोली मारकर किराना दुकानदार मेहर सिंह की हत्या (Murder) कर दी. फिर करीब 100 मीटर दूर मेडिकल स्टोर पर जाकर एक और शख्स को गोली (Fire) मारी दी. वह दवाई दुकानदार को भी गोली मारने वाला था, लेकिन उससे पहले पड़ाेसी दुकानदार ने आरोपी को पकड़ा लिया.
बाद में मौके पर मौजूद लोगों ने आरोपी को पकड़ कर उसकी जमकर धुनाई कर दी. उसके पास से एक कट्टा और 12 कारतूस बरामद किये गये. वारदात शुक्रवार शाम पानीपत (Panipat) के फ्लोरा चौक के पास पेश आई। गोली से घायल शख्स को निजी अस्पताल में भर्ती करवाया गया। जबकि घायल आरोपी को पुलिस के हवाले कर दिया गया. बाद में पुलिस ने उसे भी अस्पताल में भर्ती कराया।
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आरोपी के खिलाफ सेक्टर 29 थाने में केस दर्ज
मृतक के परिजनों की शिकायत पर आरोपी के खिलाफ सेक्टर 29 थाने में हत्या, हत्या की कोशिश व अन्य धाराओं में केस दर्ज किया गया. छानबीन के दौरान एफएसएल टीम को बुलाकर मौके से सबूत जुटाए गए। मृतक किराना दुकानदार की पहचना 50 वर्षीय मेहर सिंह पुत्र चतरसिंह निवासी मछरौली गांव के रूप में हुई।
मृतक पिछले 15 साल से फ्लौरा चौक के पास किराना दुकान चलाते आ रहे थे। जानकारी के मुताबिक किराना और मेडिकल दुकानदार आरोपी के मास्क नहीं पहनने के चलते टोकते रहते थे. इसी कारण आरोपी दोनों से खफा था और शुक्रवार शाम गुस्से में आकर वारदात को अंजाम दे दिया।
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डीएसपी सतीश कुमार वत्स ने बताया कि मृतक के साले के बयान पर हत्या, हत्या की कोशिश व अन्य धाराओं में आरोपी के खिलाफ केस दर्ज किया गया है. आरोपी को गिरफ्तार कर अस्पताल में भर्ती कराया गया है। पूछताछ में आरोपी ने मास्क नहीं लगाने पर टोकने से खफा होकर गोली मारने की बात कबूली है.
UP: उद्योगों को सस्ते दर पर मिलेगी जमीन, खेती की जमीन के औद्योगिक भू-उपयोग में बदलने का शुल्क 15% घटाया गया।
लखनऊ : UP में अब उद्योगों के लिए जमीन और सस्ते दर मिल सकेगी। सीएम योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में शुक्रवार को हुई कैबिनेट की बैठक में खेती की जमीन के औद्योगिक भू-उपयोग में बदलने का शुल्क 15% घटाने का फैसला लिया गया है। अब औद्योगिक भू-उपयोग के लिए सर्किल रेट का 20% ही देना होगा। पहले यह दर 35% थी। इससे उद्योगों के लिए लैंडबैंक बढ़ाने में मदद मिलेगी।
कैबिनेट ने यूपी नगर योजना और विकास (भू-उपयोग परिवर्तन शुल्क का निर्धारण, उद्ग्रहण एवं संग्रहण) नियमावली-2014 में संशोधन के प्रस्ताव को स्वीकृति दी है। आदेश जारी होते ही यह बदलाव अमल में आ जाएगा। सरकार के मुताबिक, शुल्क कम होने से उद्यमी औद्योगिक विकास के लिए प्रोत्साहित होंगे। निवेश आकर्षित कर नई इकाईयां लगाई जा सकेंगी, जिससे रोजगार के अवसर भी बढ़ेंगे।
देसी शराब के लिए रिजर्व होगा 18% शीरा
कैबिनेट ने नई शीरा नीति को मंजूरी दे दी। 18% शीरा देसी शराब के लिए आरक्षित किया जाएगा। शीरे का परिवहन जीपीएस युक्त टैंकरों से होगा। अब तक सड़क मार्ग से परिवहन के लिए 45 दिन की अधिकतम अवधि सीमा है। इसके बाद रोज 5 हजार रुपये जुर्माना लगता है। अब जुर्माने की अधिकतम सीमा 1 लाख रुपये तय कर दी गई है। हर चीनी मिल को आरक्षित एवं अनारक्षित शीरे की बिक्री के लिए हर महीने की 7 तारीख तक ऑनलाइन शीरा पोर्टल पर टेंडर अपलोड करना होगा।
विंध्यवासिनी मंदिर का मार्ग चौड़ा होगा
मीरजापुर के प्रसिद्ध विंध्यवासिनी धाम कॉरिडोर के प्रस्ताव को भी कैबिनेट ने मंजूर किया है। इसके तहत विंध्यवासिनी देवी मंदिर के चारों ओर 50 फुट का परिक्रमा पथ बनेगा। अभी मंदिर के चारों ओर श्रद्धालु परिक्रमा करते हैं, लेकिन मार्ग संकरा होने से दुर्घटना की आशंका रहती है। कॉरिडोर का कुल क्षेत्रफल 2,542 वर्गमीटर होगा। परियोजना के बारे में आगे फैसलों के लिए सीएम को अधिकृत कर दिया गया है।
सारनाथ-कुशीनगर पर खर्च होंगे 167 करोड़
बौद्ध सर्किट के दो अहम केंद्रों सारनाथ और कुशीनगर के विकास पर 167 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। कैबिनेट ने सारनाथ के लिए 18 और कुशीनगर में 8 विकास परियोजनाओं को मंजूरी दे दी है। दोनों ही स्थलों पर विपश्यना ध्यान केंद्रों का निर्माण होगा। मार्गों पर स्ट्रीट लाइट, चौराहों का सौंदर्यीकरण, गोल्फकोर्ट की सुविधा, कुशीनगर में हिरण्यवती नदी पर फुटओवर ब्रिज बनाया जाएगा। कैबिनेट ने मुजफ्फरनगर में श्री शुकदेव आश्रम स्वामी कल्याण देव सेवा ट्रस्ट को लीज पर दी गई 5 एकड़ जमीन का लीज 30 वर्ष बढ़ाने का प्रस्ताव राष्ट्रीय वन्य जीव बोर्ड को भेजने पर सहमति दे दी है।
यूपी की खेती में मदद करेगा जापान
प्रदेश के कृषि शिक्षा व अनुसंधान विभाग और जापान के वन तथा मत्स्य मंत्रालय के बीच मेमोरेंडम ऑफ कोऑपरेशन को भी मंजूरी मिल गई है। केंद्र सरकार से अनुमति मिलने के बाद प्रक्रिया आगे बढ़ाई जाएगी। जापान खेती को बेहतर बनाने तथा प्रदेश के कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालयों में कृषि संबंधी क्षेत्रों में रिसर्च, एजुकेशन एवं एक्सटेंशन के क्षेत्र में एक्सिलेंस प्राप्त करने में मदद करेगा। एक अन्य फैसले में जल-जीवन मिशन के तहत बुंदेलखंड, विंध्य और गुणवत्ता प्रभावित गांवों में पेयजल योजना को भी मंजूर कर लिया गया है। 200 करोड़ से अधिक लागत की 3 परियोजनाएं मंजूर की गई हैं। इससे 953 गांवों में शुद्ध पेयजल मिल सकेगा।
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Corona: डाबर इंडिया ने कोरोना योद्धाओं को किया सलाम
नई दिल्ली: डाबर इंडिया ने डीसीपी कार्यालय, आउटर डिस्ट्रिक्ट पीतमपुरा में आयोजित एक विशेष समारोह में दिल्ली पुलिस के कोरोना योद्धाओं को सम्मानित किया। इस विशेष कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रुप में सुधांशु धर्मा, एडिशनल डीसीपी-I, आउटर डिस्ट्रिक्ट और आनंद कुमार मिश्रा, एडिशनल डीसीपी-II आउटर डिस्ट्रिक्ट, दिल्ली उपस्थित रहे।
वही डाबर इंडिया की ओर से मुकेश मिश्रा वाइस प्रेसिडेंट (हेल्थ केयर), मोहित पाल सिंह, सीनियर ब्रांड मैनेजर (डाबर च्यवनप्राश) और नवनीत कुमार (मैनेजर ब्रांड एक्टिवेशन) कार्यक्रम में शामिल हुए। मुकेश मिश्रा ने कहा ने दिल्ली पुलिस की सेवा का आभार व्यक्त करते हुए इम्युनिटी को मजबूत करने पर जोर दिया।डाबर इंडिया के इस प्रयास की सराहना करते हुए सुधांशु धर्मा, एडिशनल डीसीपी–I, (आउटर डिस्ट्रिक्ट) ने डाबर इंडिया से आए हुए पदाधिकारियों को प्रशंसा प्रमाण पत्र देते हुए पुलिस बल का मनोबल बढ़ाने वाली डाबर च्यवनप्राश की पहल का अभिनंदन किया, और साथ ही चिकित्सक, सफाई कर्मियों की सेवाओं को भी याद किया।
आनंद कुमार मिश्रा, एडिशनल डीसीपी-II (आउटर डिस्ट्रिक्ट) ने पुलिस प्रशासन के लिए सेवा को सलाम कार्यक्रम द्वारा मिले हुए जनता के प्यार और विश्वास का आभार व्यक्त किया और आयोजन की जिम्मेदारी को सफलतापूर्वक निभाने वाले वृत्ति सॉल्यूशंस लिमिटेड के प्रतिनिधियों को भी प्रशंसा प्रमाण पत्र प्रदान किया। इस मौके पर डाबर इंडिया ने दिल्ली पुलिस के आउटर डिस्ट्रिक्ट के कोरोना योद्धाओं को 1500 से अधिक च्यवनप्राश भी सौपे और डाबर परिवार की तरफ से ढेरों शुभकामनाएं दी।
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तुर्की, यूनानी द्वीप में भूकंप: मरने वालों की संख्या बढ़कर 26 हुई
(डिसक्लेमर:यह आर्टिकल एजेंसी फीड से ऑटो–अपलोड हुआ है)
इजमिर (तुर्की), 31 अक्टूबर (एपी) तुर्की के तट और यूनान के सामोस द्वीप के बीच इजियन सागर में आए शक्तिशाली भूकंप के कारण मरने वाले लोगों की संख्या बढ़कर कम से कम 26 हो गई है और 800 से अधिक लोग घायल हुए हैं। शुक्रवार दोपहर को आए भूकंप के कारण तुर्की के तीसरे सबसे बड़े शहर इजमिर में इमारतें ढह गईं और इजमिर जिले के सेफेरिहिसार एवं सामोस में छोटी सुनामी भी आई। इसके बाद भी भूकंप बाद के सैकड़ों झटके आए। बचाव दल भूकंप में जीवित बचे लोगों की तलाश कर रहे हैं। तुर्की के आपदा एवं आपातकालीन प्रबंधन विभाग ने बताया कि इजमिर में कम से कम 24 लोगों की मौत हो गई, जिनमें से एक बुजुर्ग महिला की मौत डूबने के कारण हुई। स्वास्थ्य प्राधिकारियों ने बताया कि सामोस में एक दीवार ढहने के कारण फंसी दो किशोरियों की मौत हो गई। द्वीप में कम से कम 19 लोग घायल हुए हैं। भूकंप में 800 से अधिक लोग घायल हो गए हैं। विभाग ने बताया कि भूकंप का केन्द्र एजियन सागर में 16.5 किलोमीटर नीचे था। भूकंप की तीव्रता 6.6 दर्ज की गई। यूरोपीय- मूध्यसागर भूकंप विज्ञान केन्द्र ने कहा कि शुरुआत में भूकंप की तीव्रता 6.9 थी और इसका केन्द्र यूनान के उत्तर-उत्तरपूर्व में सामोस द्वीप में था। प्राधिकारियों ने इजमिर निवासियों को सचेत किया है कि वे क्षतिग्रस्त इमारतों में अभी नहीं लौटें, क्योंकि भूकंप बाद से झटकों के कारण ये इमारतें ढह सकती हैं। इजमिर में 3,000 से अधिक राहत कर्मियों और राहत सामग्री को भेजा गया है। यूनान और तुर्की के बीच तनावपूर्ण संबंधों के बीच दोनों देशों के अधिकारियों ने इस मुश्किल समय में एकजुटता दिखाते हुए संदेश जारी किए तथा यूनान और तुर्की के राष्ट्रपतियों ने फोन पर बातचीत की। एपी सिम्मी शाहिदशाहिद
Armenia-Azarbejan War : 5 दिन में ‘कब्जा’ करना चाहता था अजरबैजान, आर्मीनिया के पलटवार से पस्त
येरेवान
नगोर्नो-काराबाख पर कब्जे के लिए अजरबैजान ने तुर्की के साथ मिलकर एक बड़ी रणनीति बनाई थी। अजरबैजान को उम्मीद थी कि वह तुर्की और इजरायली हथियारों के बल पर अचानक से हमला करके 5 दिन में नगोर्नो-काराबाख के बड़े इलाके पर कब्जा कर लेगा। हालांकि ऐसा हुआ नहीं और आर्मीनिया की सेना ने इतना तगड़ा पलटवार किया कि यह युद्ध अब दूसरे महीने में प्रवेश कर गया है। यही नहीं इस जंग में अजरबैजान सरकार को उसके अनुमान से ज्यादा सैनिकों और पैसे का नुकसान उठाना पड़ा है।
काकेकश इलाके में तैनात एक पश्चिमी सैन्य अधिकारी ने एशिया टाइम्स से बातचीत में कहा, ‘सभी संकेत बताते हैं कि अजरबैजान की असली योजना अचानक से भीषण हमला करके 3 से 5 दिन तक युद्ध लड़ने की थी ताकि आर्मीनिया को सेना को पीछे ढकेला जा सके।’ इस आक्रामक सैन्य कार्रवाई की शुरुआत 27 सितंबर को हुई थी और अब यह दूसरे महीने में प्रवेश कर गई है। यही नहीं रूसी राष्ट्रपति के मुताबिक इस लड़ाई में अब तक 5 हजार लोग मारे गए हैं।
अजरबैजान के 5 दिन तक युद्ध लड़ने के समयसीमा की पुष्टि मास्को में तैनात एक यूरोपीय सैन्य अधिकारी ने भी की। उन्होंने कहा कि तुर्की ने आर्मीनिया से लड़ने के लिए 1 हजार सीरियाई आतंकवादियों की भर्ती की थी। इन आतंकवादियों को अचानक से हमला करना था और उन्हें उन जगहों पर तैनात किया गया था जहां पर कराबाख की सेना कमजोर थी। सैन्य अधिकारी ने कहा कि अजरबैजान ने आर्मीनिया की सेना को बहुत कम आंका जिसके पास पहाड़ों पर लड़ने का भौगोलिक फायदा था।
अजरबैजान ने यह आक्रामक सैन्य कार्रवाई ऐसे समय पर की जब अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव प्रचार चल रहा था। अजरबैजान को उम्मीद थी कि आर्मीनिया के पास जब तक अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सहायता आएगी तब तक वह अपने मंसूबों में कामयाब हो चुका होगा। उसने यह भी सोचा था एक बार उसका नगोर्नो-काराबाख के जिन इलाकों पर कब्जा हो जाएगा, वहीं पर वह संघर्ष विराम कर लेगा। इससे कब्जा की हुई जमीन उसके हिस्से में आ जाएगी।
इस युद्ध में रूस ने भी उदासीन रवैया अपनाया। अजरबैजान को लगा कि वह इजरायल और तुर्की के घातक हथियारों के बल पर नगोर्नो-काराबाख के काफी इलाके पर कब्जा कर लेगा। हालांकि उसे आर्मीनिया की सेना के भारी विरोध का सामना करना पड़ा। अजरबैजान ने अपना सारा जोर पिछले कुछ दिनों में शुशी शहर पर लगाया है जिसे प्रतीकात्मक रूप से बेहद अहम माना जाता है। आर्मीनिया की सेना के पलटवार का असर यह रहा कि अब दोनों ही देशों के विदेश मंत्री सीजफायर पर बात कर रहे हैं।
अमेरिका में COVID-19 महामारी की शुरुआत के बाद से अब तक की सबसे बड़ी दैनिक वृद्धि दर्ज, एक दिन में 90 हजार से ज्यादा मामले।
न्यूयॉर्क: अमेरिका ने COVID-19 महामारी की शुरुआत के बाद से अब तक की सबसे बड़ी दैनिक वृद्धि दर्ज की है। यहां एक दिन में 90 हजार से ज्यादा मामले सामने आए हैं। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, देश में मामलों की संख्या 80 लाख से 90 लाख होने में यानि कि 10 लाख नए मामले सामने आने में केवल 14 दिन का समय लगा है।
इन दिनों अमेरिका में मामलों और मौतों की संख्या आसमान छू रही है। यूएस सेंटर फॉर डिसीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (CDC) के मुताबिक यहां गुरुवार को 90,155 नए मामले और 1,055 मौतें दर्ज हुईं। इस हफ्ते में 4 बार COVID-19 मामलों की संख्या 80 हजार से अधिक रही। गुरुवार को यहां के 9 राज्यों इलिनोइस, इंडियाना, मेन, मिशिगन, मिनेसोटा, न्यू मेक्सिको, नॉर्थ कैरोलाइना, नॉर्थ डकोटा और ओहायो में अब तक की सर्वाधिक दैनिक वृद्धि दर्ज की गई।
COVID-19 ट्रैकिंग प्रोजेक्ट के मुताबिक, अमेरिका में इस हफ्ते 5 लाख से ज्यादा संक्रमणों के रिकॉर्ड होने की जानकारी दी। वहीं देश में कोविड रोगियों के अस्पताल में भर्ती होने की संख्या इस महीने की शुरूआत की औसत संख्या 30 हजार से बढ़कर 43 हजार रही।
‘यूएस फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन’ के पूर्व कमिश्नर स्कॉट गॉटलिब ने गुरुवार को एक साक्षात्कार के दौरान कहा, “इस COVID-19 महामारी के सबसे कठिन दिन अगले दो महीने हैं। हम हमारे सुरक्षा उपायों को नहीं छोड़ सकते हैं।” इतना ही नहीं उन्होंने चेतावनी दी है कि अमेरिका अगले कुछ हफ्तों में या शायद इसी हफ्ते से रोजाना 1 लाख मामलों की संख्या को पार करेगा।
Supreme Court Judgement: सुप्रीम कोर्ट ने अपने अहम फैसला में बच्चे का अधिकार सर्वोपरि रखते हुए मां को दी कस्टडी
दरअसल सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अगुवाई वाली बेंच ने कहा कि विडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिये बच्चे ने संकेत दिया कि वह अपनी मां के साथ सिंगापुर में रहना चाहता है लेकिन साथ ही वह अपने पिता से भी अटैच है। याचिकाकर्ता महिला सिंगापुर में रहती हैं और वहां कंपनी में काम करती हैं। इस मामले में बच्चे की उम्र 7 साल है और बच्चे का हित सर्वोपरि है।
‘बच्चे के पिता का विजिटिंग राइट्स भी जरूरी’
सुप्रीम कोर्ट इसे देखते हुए अनुच्छेद-142 का इस्तेमाल करती है और केस की पेंडेंसी के दौरान बच्चे के हित और बेहतरी को देख रही है। बताया गया है कि कोविड 19 से सिंगापुर फ्री हो चुका है और वह वहां क्लास अटैंड और ऑनलाइन पढ़ाई कर सकेगा। इस मामले में संतुलन कायम रखना होगा और बच्चे के पिता का विजिटिंग राइट्स भी जरूरी है। मामले में पैरेंट्स के बीच के टकराव की स्थिति में बच्चे के मन में सुरक्षा की भावना रहे इसके लिए संतुलन जरूरी है और बच्चे के हित को सर्वोपरि सुनिश्चित करना अनिवार्य है ताकि दोनों पैरेंट्स की उपस्थिति में बच्चे का विकास हो सके। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हमारा मत है कि बच्चे को सिंगापुर ले जाने की इजाजत है जहां उसकी मां रहती हैं और नौकरी करती हैं।
मां के साथ रहेगा बच्चा
सुप्रीम कोर्ट ने अपने अहम फैसले में कहा कि हम हाई कोर्ट के उस आदेश को खारिज करते हैं जिसमें हाई कोर्ट ने बच्चे की मां को बेंगलूर से बाहर बच्चे को ले जाने की इजाजत नहीं दी थी। शीर्ष अदालत ने कहा कि बच्चे की मां को इजाजत है कि वह बच्चे को सिंगापुर ले जा सकती है जहां वह रहती हैं। बच्चे की मां (याचिकाकर्ता) बच्चे का वहां के स्कूल में दाखिला कराएंगी और बच्चे को ले जाने का इंतजाम करेंगी। बच्चे के पिता 48 घंटे के दौरान बच्चे के पासपोर्ट याचिकाकर्ता को सौंपेंगे।
पिता को विडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये बात करने की मिली इजाजत
बच्चे के पिता को इजाजत होगी कि वह विडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये शनिवार और रविवार को अपने बच्चे के एक घंटे बात कर सकेंगे और बाकी के पांच दिन पांच से 10 मिनट बात करेंगे। जब वह छुट्टी में सिंगापुर जाएंगे तो आधी छुट्टी के दौरान 10 बजे सुबह से शाम छह बजे तक बच्चे से मिल सकेंगे। बच्चे को उसकी मां साल में दो बार बेंगलूर लेकर आएंगी और इस दौरान पिता को मिलने की इजाजत होगी। साथ ही गर्मी की छुट्टियों में अगले साल 2021 में जब बच्चे को लेकर उसकी मां बेंगलूर लेकर आएंगी तो पिता उस दौरान उससे मिल सकेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने इन शर्तों के बारे में याचिकाकर्ता महिला को अंडरटेकिंग देने को कहा। अदालत ने कहा कि जब तक केस पेंडिंग है तब तक ये आदेश प्रभावी रहेगा।
बच्चे की कस्टडी के लिए शुरू हुई लड़ाई
पेश मामले में याचिकाकर्ता महिला की शादी 2009 में हुई थी। पति बेंगलूर में रहते हैं। 2013 में बच्चे का जन्म हुआ। बाद में पति-पत्नी के बीच वैवाहिक विवाद हुआ और इसके बाद दोनों 2016 से अलग रहने लगे। इसी बीच पत्नी ने बेंगलूर की अदालत में तलाक की अर्जी दाखिल की और वह पेंडिंग है। साथ ही उन्होंने डीवी एक्ट के तहत भी केस दायर किया जो पेंडिंग है। 2017 से वह सिंगापुर में नौकरी कर रही है। जुलाई 2017 में महिला ने बच्चे का पासपोर्ट मांगा और इसके लिए अर्जी दाखिल की। पति ने इसका विरोध किया। साथ ही बच्चे की कस्टडी को लेकर दोनों में कानूनी लड़ाई शुरू हुई।
महिला ने खटखटाया था सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा
बेंगलूर की फैमिली कोर्ट ने 4 जनवरी 2018 को पासपोर्ट की मांग वाली महिला की अर्जी खारिज कर दी और पति की उस अर्जी को स्वीकार कर लिया जिसमें कहा गया था कि महिला बेंगलूर से बाहर बच्चे को न ले जाएं। यानी बेंगलूर से बाहर बच्चे को ले जाने पर कोर्ट ने मनाही कर दी। महिला ने हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। हाई कोर्ट ने याचिका खारिज कर दी और बेंगलूर से बाहर बच्चे को ले जाने पर रोक के फैसले को बरकरार रखा। फिर मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा था।
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Narendra Modi: एकता के नए पैमाने गढ़ रहा है भारत
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने शनिवार को राष्ट्रीय एकता दिवस के मौके पर कहा कि देश अब एकता के नए पैमाने गढ़ रहा है। पीएम ने सरदार पटेल (Sardar Patel) के संकल्पों को दोहराते हुए जम्मू-कश्मीर के नए विकास पथ के साथ ही पूर्वोत्तर भारत में शांति बहाली का जिक्र किया।
देश के पहले गृह मंत्री सरदार बल्लभ भाई पटेल की 145वीं जयंती पर ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ पर श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में कहा, ‘आज, जम्मू-कश्मीर विकास के नए पथ पर है। अब चाहे पूर्वोत्तर भारत में शांति बहाली की प्रक्रिया हो या फिर वहां विकास के लिए उठाए जा रहे कदम। देश एकता के नए पैमाने तय कर रहा है।’
सरदार पटेल को याद करते हुए पीएम ने कहा, ‘उन्होंने देश की विभिन्नता के जरिए भारत को वर्तमान स्वरूप दिया। आजादी के बाद कई देसी राज्यों का विलय कर स्वतंत्र और सशक्त भारत की बुनियाद रखी। आज पूरा देश लौह पुरुष को श्रद्धांजलि अर्पित कर रहा है। आज एक बार फिर से पूरा देश सरदार पटेल के बतलाए रास्ते पर देश की तरक्की की प्रतिज्ञा को दोहरा रहा है।’देश की विविधता को उसकी ताकत और अस्तित्व बताते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि देश एकजुट है तो असाधारण हैं, लेकिन भारत की ये एकता और ये ताकत दूसरों को खटकती भी रहती है। उन्होंने देशवासियों से अपील करते हुए कहा,‘हमारी इस विविधता को ही कुछ लोग हमारी कमजोरी बनाना चाहते हैं। ऐसी ताकतों को पहचानना जरूरी है, सतर्क रहने की जरूरत है।’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आतंकवाद का समर्थन करने वाले लोगों को आड़े हाथों लिया है। प्रधानमंत्री ने सीधे तौर पर फ्रांस की घटनाओं का जिक्र तो नहीं किया मगर कहा कि ‘जिस तरह कुछ लोग आतंकवाद के समर्थन में खुलकर सामने आ गए हैं, वो आज वैश्विक चिंता का विषय है।’ उन्होंने कहा कि दुनिया के ‘सभी देशों की सरकारों को आतंकवाद के खिलाफ एकजुट होने की बहुत ज्यादा जरूरत है।’ पीएम मोदी ने कहा कि ‘आतंकवाद-हिंसा से कभी भी, किसी का कल्याण नहीं हो सकता।’
पुलवामा हमले का जिक्र करते हुए पीएम ने विपक्षियों पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि जब हमारे देश के जवान शहीद हुए थे उस वक्त भी कुछ लोग राजनीति में लगे हुए थे। चीन का नाम लिए बगैर उन्होंने कहा, ‘आत्मनिर्भर देश ही अपनी प्रगति के साथ साथ अपनी सुरक्षा के लिए भी आश्वस्त रह सकता है। इसलिए, आज देश रक्षा के क्षेत्र में भी आत्मनिर्भर बनने की ओर बढ़ रहा है। आज भारत की भूमि पर नज़र गड़ाने वालों को मुंहतोड़ जवाब मिल रहा है।’
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Mumbai: लवीना लोध के आरोपों को महेश-मुकेश भट्ट ने बताया झूठा, किया बड़ा खुलासा
मुंबई. फिल्म निर्माता महेश भट्ट (Mahesh Bhatt) और उनके भाई मुकेश भट्ट (Mukesh Bhatt) ने एक्ट्रेस लवीना लोध (Luviena Lodh) द्वारा लगाए गए सभी आरोपों को गलत बताया है. दोनों भाईयों ने एक्ट्रेस के खिलाफ एक करोड़ रुपए का मानहानि केस दर्ज कराने के बाद एक स्टेटमेंट जारी किया है, जिसमें लवीना लोध को लेकर कुछ चौकाने वाले खुलासे किए हैं. उन्होंने लवीना के सभी आरोपों को गलत बताया है साथ ही ये कहा है कि लवीना का ये दावा झूठा है कि वह हमारी बहू हैं.
भट्ट परिवार का कहना है कि लवीना लोध ने उनके फ्लैट पर कब्जा कर रखा है और उसे खाली करवाने की कार्रवाई करने के बाद लवीना ने यह कदम उठाया है. महेश भट्ट (Mahesh Bhatt) और उनके भाई मुकेश भट्ट (Mukesh Bhatt) द्वारा जो स्टेटमेंट जारी किया गया है, उसमें कहा गया है कि मि. लोध और उनके पति सुमित सबरवाल के बीच साल 2016 से वैवाहिक विवाद चल रहा है और सुमित हमारी कंपनी विशेष फिल्म्स में काम करता है. हाल ही में उनके खिलाफ एक फ्लैट को खाली करने के लिए कार्रवाई की गई थी, जिस पर उन्होंने (लवीना) कब्जा कर रखा है. इस कार्रवाई के बाद ही एक रणनीति के तहत एक्ट्रेस ने हमारे खिलाफ और हमारे परिवार के सदस्यों को व्यक्तिगत रुप से निशाना बनाया है.
Me Too: मुकेश खन्ना ने महिलाओं पर की विवादित टिप्पणी।
यह पहली बार नहीं है जब मुकेश खन्ना (Mukesh Khanna) ने इस तरह का बयान देकर बवाल मचाया हो. उन्होंने द कपिल शर्मा शो‘ (The Kapil Sharma Show) को वाहयात और घटिया बताया था, वहीं इससे पहले तक वह नेपोटिज्म (Nepotism) पर एक के बाद एक कई विवादित बयान दे चुके थे.
मुंबईः बीआर चोपड़ा के बहुचर्चित धार्मिक धारावाहिक ‘महाभारत’ (Mahabharat) में ‘भीष्म पितामह’ और सुपर पावर बेस्ड ‘शक्तिमान’ से घर-घर में पहचान बनाने वाले मुकेश खन्ना (Mukesh Khanna) का विवादों के साथ गहरा नाता बन चुका है. बीते कुछ दिनों से मुकेश खन्ना अपने विवादित बयानों के चलते सुर्खियों में हैं. हाल ही में एक्टर ने ‘द कपिल शर्मा शो’ (The Kapil Sharma Show) को वाहयात और घटिया बताया था, वहीं इससे पहले तक वह नेपोटिज्म (Nepotism) पर एक के बाद एक कई विवादित बयान दे चुके थे. हालांकि, यह पहली बार नहीं है जब उन्होंने इस तरह का बयान देकर बवाल मचाया हो.इससे पहले भी कई बार मुकेश खन्ना अजब-गजब बयानों के चलते सुर्खियों में रहे हैं. लेकिन, इन दिनों एक्टर का एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें वह महिलाओं और मीटू पर विवादित टिप्पणी देते नजर आ रहे हैं. मुकेश खन्ना का यह वीडियो कुछ पुराना है, लेकिन इन दिनों चर्चा का विषय बना हुआ है. जहां, सोशल मीडिया यूजर मुकेश खन्ना के इस वीडियो में उनके दिए बयान पर नाराजगी जाहिर कर रहे हैं.
वीडियो में मुकेश खन्ना कहते हैं- ‘मर्द अलग होता है औरत अलग होती है. औरत की रचना अलग होती है और मर्द की अलग होती है. औरत का काम होता है घर संभालना, जो माफ करना मैं कभी-कभी बोल जाता हूं कि प्रॉब्लम कहां से शुरू हुई है मी-टू की जब औरतों ने भी काम करना शुरू कर दिया. आज औरत मर्द के साथ कंधे से कंधा मिलाकर बात करती हैं.’
‘लोग वुमन लिव की बात करेंगे, लेकिन मैं आपको बता दूं कि प्रॉब्लम यहीं से शुरू होती है. सबसे पहला जो मैम्बर सफर करता है, वह घर का बच्चा होता है. जिसको मां नहीं मिलती. आया के साथ बैठकर क्योंकि सास भी कभी बहू देख रहा होता है. वो जबसे शुरुआत हुई, उसके बीच में यह शुरुआत हुई कि मैं भी वही करूंगी, जो मर्द करता है. नहीं, मर्द, मर्द है औरत, औरत है.’
America President Election- डोनाल्ड ट्रंप-जो बाइडेन में जुबानी जंग तेज
वॉशिंगटन
अमेरिका के राष्ट्रपति चुनाव में अब बस तीन दिन बचे हैं और राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप तथा उनके विरोधी जो बाइडेन में जुबानी जंग तेज होती जा रही है। ट्रंप ने राष्ट्रपति पद के चुनाव में अपने प्रतिद्वंद्वी जो बाइडेन पर भ्रष्ट नेता होने का आरोप लगाते हुए कहा कि डेमोक्रेटिक उम्मीदवार ने पिछले 47 साल में अमेरिकियों को धोखा देने के अलावा और कुछ नहीं किया। उधर, बाइडेन ने भी ट्रंप पर जोरदार पलटवार किया है।
ट्रंप (74) ने मिनेसोटा के रोचेस्टर में एक रैली को संबोधित करते हुए कहा कि बाइडेन को सत्ता की सनक है। उन्होंने कहा, ‘बाइडेन घटिया और भ्रष्ट नेता है, जिन्होंने पिछले 47 साल में आपको धोखा देने के अलावा और कुछ नहीं किया। वह आपकी आंखों में देखेंगे और पीछे घूमकर आपकी पीठ पर छुरा भोंक देंगे। उन्हें केवल सत्ता हासिल करने की चिंता है।’ ट्रंप ने अपने समर्थकों से कहा कि वे तीन नवंबर को होने वाले राष्ट्रपति पद के चुनाव में उन्हें निर्णायक जीत दिलाकर ही अपनी गरिमा की रक्षा कर सकते हैं।
‘हम चीनी प्लेग को हमेशा के लिए मिटा देंगे’
उन्होंने कहा, ‘आपके परिवार और आपके देश की रक्षा करने का यही एक तरीका है। अमेरिकी जीवन शैली को संरक्षित रखने और उसकी रक्षा करने का यही एकमात्र तरीका है। आपको तीन नवंबर को मतदान करना होगा। तीन नवंबर को बाइडेन को हराने और अमेरिकी स्वतंत्रता की रक्षा करने के लिए मतदान करें।’ राष्ट्रपति ने कहा कि बाइडेन की योजना के कारण कोरोना वायरस का टीका आने में देरी होगी, उपचार पद्धतियों को लागू करने में देर होगी, अर्थव्यवस्था ढह जाएगी और पूरा देश बंद हो जाएगा।
उन्होंने कहा, ‘हम चीनी प्लेग को हमेशा के लिए मिटा देंगे। रिपब्लिकन पार्टी के लिए मतदान अमेरिकी सपने के लिए मतदान होगा…अब्राहम लिंकन की पार्टी के लिए मतदान होगा।’ अमेरिका में कोरोना वायरस से कुल 90,34,925 लोग संक्रमित हो चुके हैं और 2,29,544 लोगों की संक्रमण के कारण मौत हो चुकी है। उन्होंने कहा, ‘हम आगामी चार साल में अमेरिका को दुनिया की विनिर्माण महाशक्ति बनाएंगे और चीन पर निर्भरता हमेशा के लिए समाप्त कर देंगे।’
ट्रंप ने अमेरिकियों को एक-दूसरे के खिलाफ खड़ा किया: बाइडेन
उधर, डेमोक्रेटिक पार्टी की ओर से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार बाइडेन ने ट्रंप पर अमेरिका के लोगों को नस्ल, जाति और राष्ट्रगान के आधार पर एक दूसरे के खिलाफ करने तथा अमेरिका को विभाजित करने का आरोप लगाया। मिनेसोटा में शुक्रवार को एक रैली में 77 वर्षीय बाइडेन ने कहा कि अमेरिका अगले और चार वर्षों तक ट्रंप को देश के राष्ट्रपति के रूप में वहन नहीं कर सकता है।
बाइडेन ने कहा, ‘केवल एक चीज है जो अमेरिका को अलग-थलग कर सकती है और वह खुद अमेरिका है, और डोनाल्ड ट्रंप शुरू से यही करते आ रहे हैं, अमेरिका को विभाजित करना। अमेरिकियों को नस्ल, जाति और राष्ट्रीय मूल के आधार पर एक दूसरे के खिलाफ खड़ा करना। यह गलत है। हम ऐसे नहीं हैं। हर कोई जानता है कि डोनाल्ड ट्रंप कौन हैं। चलिए उन्हें बताएं कि हम कौन हैं।’ बाइडेन प्रचार अभियान के दौरान सामाजिक दूरी के नियमों का सख्ती से पालन कर रहे हैं।
‘मैं एक अमेरिकी राष्ट्रपति के रूप में शासन करूंगा’
उन्होंने कहा, ‘हम और चार वर्षों के लिए डोनाल्ड ट्रंप को वहन नहीं कर सकते। 2008 और 2021 में आपने मुझमें और बराक ओबामा पर भरोसा जताया था। हम हर दिन अपने दफ्तर में थे, आपके लिए और पूरे समुदाय के लिए काम कर रहे थे। 2020 में भी मैं वहीं करूंगा। मेरा अभियान डेमोक्रेट, रिपब्लिकन, निर्दलीय, डेमोक्रेट-रिपब्लिकन पदाधिकारियों का मिला जुला है। मैं एक गौरवांवित डेमोक्रेट के रूप में इस चुनाव में उतरा हूं लेकिन मैं एक अमेरिकी राष्ट्रपति के रूप में शासन करूंगा।’
Mumbai: मेट्रो के पिलर से टकराकर क्रेन दो हिस्सों में बंटी, एक महिला की मौत, दो गंभीर- अंधेरी गुंदावली बस स्टॉप की घटना।
Mumbai वेस्टर्न एक्सप्रेस हाइवे (Western Express Highway) के पास शनिवार सुबह एक दर्दनाक हादसा हुआ। अंधेरी गुंदावली बस स्टॉप पर एक अनियंत्रित क्रेन तेज रफ्तार में मेट्रो के पिलर से जा टकराई। इस हादसे में एक महिला की मौत हो गई, जबकि दो लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।
हादसा शनिवार सुबह लगभग छह बजे हुआ। एक महिला अंधेरी वेस्टर्न एक्सप्रेस हाइवे के बस स्टॉप पर खड़ी थी। मेट्रो की क्रेन को जोगेश्वरी से बांद्रा लाया जा रहा था। बताया जा रहा है कि क्रेन के ड्राइवर ने अचानक क्रेन से अपना नियंत्रण खो दिया। देखते ही देखते क्रेन दो हिस्सों में बंट गई। बस स्टॉप पर खड़ी महिला के ऊपर क्रेन का एक हिस्सा जाकर गिर गया। महिला क्रेन के पिछले पहिए के नीचे दब गई और उनकी मौके पर ही मौत हो गई। बस स्टॉप के पास मौजूद दो अन्य लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। ड्राइवर मौके पर ही क्रेन छोड़कर भाग निकला। पुलिस उसकी तलाश कर रही है।अंधेरी से दहिसर के लिए बिछाई जा रही यह मेट्रो लाइन
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि मृतक महिला की पहचान फाल्गुनी पटेल के रूप में हुई है। जो दो अन्य लोग घायल हुए हैं। उन्हें पास के एक अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया है। उनकी हालत गंभीर है। अधिकारियों ने बताया कि मुंबई मेट्रो लाइन-7 का निर्माण हो रहा है। यह लाइन, अंधेरी से दहिसर के लिए बिछाई जा रही है।
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क्या है Noor Jahan Begum केस? जिसके हवाले से कोर्ट ने केवल शादी के लिए धर्म परिवर्तन को अवैध करार दिया
Noor Jahan Begum : इलाहाबाद हाई कोर्ट ने बड़ा फैसला देते हुए केवल शादी के लिए धर्म परिवर्तन को अवैध करार दिया है। दो अलग धर्म के जोड़े की याचिका को खारिज करते हुए कोर्ट ने यह आदेश दिया। कुरान का जिक्र करते हुए कोर्ट ने कहा कि इस्लाम में बिना आस्था और विश्वास के केवल शादी करने के उद्देश्य से धर्म बदलना स्वीकार्य नहीं है। यह इस्लाम के खिलाफ है। कोर्ट ने नूरजहां बेगम केस के फैसले का हवाला दिया, जिसमें कोर्ट ने कहा कि शादी के लिए धर्म बदलना स्वीकार्य नहीं है। इस केस में हिन्दू लड़की ने धर्म बदलकर मुस्लिम लड़के से शादी की थी। इसी फैसले के हवाले से कोर्ट ने मुस्लिम से हिंदू बनकर शादी करने वाली याचिकाकर्ता को राहत देने से इनकार कर दिया।
यह आदेश न्यायमूर्ति एमसी त्रिपाठी ने प्रियांशी उर्फ समरीन और अन्य की याचिका पर दिया है। कोर्ट ने कहा है कि एक याची मुस्लिम तो दूसरा हिन्दू है। लड़की ने 29 जून 2020 को हिन्दू धर्म स्वीकार किया और एक महीने बाद 31 जुलाई को विवाह कर लिया। कोर्ट ने कहा कि रेकॉर्ड से साफ है कि शादी करने के लिए धर्म परिवर्तन किया गया है। आइए जानते हैं कि नूर जहान बेगम केस है क्या, जिसका हवाला देकर कोर्ट ने ऐसी शादी को अवैध करार दिया।
2014 के नूर जहां बेगम उर्फ अंजलि मिश्रा और अन्य केस का हवाला दिया। 6 साल पहले के केस में इलाहाबाद हाई कोर्ट के जस्टिस सूर्य प्रकाश केसरवानी ने फैसला देते हुए कुरान की आयतों का जिक्र किया था। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के पुराने ऑर्डर का जिक्र करते हुए कहा था कि आस्था या ईमान में किसी वास्तविक बदलाव के बगैर केवल शादी के लिए ही गैर मुस्लिम का धर्मांतरण करना गैरकानूनी और अमान्य है।
कोर्ट ने मुस्लिमों के पवित्र ग्रंथ का जिक्र करते हुए कहा था कि ऐसी शादियां कुरान की आयत 221 सूरा 2 में उल्लिखित बातों के खिलाफ हैं। कोर्ट ने जिक्र करते हुए कहा, ‘किसी लड़की या महिला से तब तक शादी मत करो, जब तक वे धर्म में विश्वास ना करें। और ना ही लड़की की शादी गैर विश्वासी व्यक्ति के साथ करें।’
केस में यूपी के अलग-अलग जिलों से पांच कपल ने याचिका दायर करते हुए ‘शादीशुदा कपल के तौर पर सुरक्षा’ की मांग की थी। उन जोड़ों में से लड़के मुस्लिम और लड़कियां हिंदू थीं, जिन्होंने निकाह (शादी) के लिए इस्लाम अपना लिया था। इन सभी ने शादी के एक महीने पहले सितंबर 2014 में काजी के सामने धर्म परिवर्तन किया था।
कोर्ट ने आदेश में कहा, ‘याचिकाकर्ता लड़कियों के अनुसार उन्हें इस्लाम के बारे में जानकारी या सच्ची आस्था नहीं है। केवल शादी के मकसद से उनका धर्म परिवर्तन हुआ। धर्मांतरण के केस में नए धर्म के नियम, रीति और सिद्धांतों में सच्ची श्रद्धा होनी चाहिए।’
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Indian Oil: इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन का लाभ 11 गुना बढ़ा,
सितंबर तिमाही में कंपनी का स्टटैंडअलोन शुद्ध लाभ 6,227.31 करोड़ रुपए रहा
- प्रत्येक शेयर पर कंपनी ने 6.78 रुपए का शुद्ध लाभ दर्ज किया
- ग्रॉस रिफाइनिंग मार्जिन 1.28 डॉलर से बढ़कर 8.62 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया
देश की सबसे बड़ी तेल कंपनी इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (IOC) ने शुक्रवार को कहा कि सितंबर तिमाही में उसका स्टटैंडअलोन शुद्ध लाभ 11 गुना बढ़कर 6,227.31 करोड़ रुपए रहा। रिफाइनिंग मार्जिन बढ़ने और इनवेंटरी गेन के कारण कंपनी के शुद्ध लाभ में इतनी भारी बढ़ोतरी हुई है। कंपनी ने प्रत्येक शेयर पर 6.78 रुपए का शुद्ध लाभ दिया है।
कंपनी के चेयरमैन श्रीकांत माधव वैद्य ने कहा कि एक साल पहले की समान तिमाही में कंपनी को 563.42 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ हुआ था। उन्होंने कहा कि ज्यादा इनवेंटरी और फॉरेक्स लाभ और बेहतर रिफाइनरी मार्जिन के कारण कंपनी के शुद्ध लाभ में भारी बढ़ोतरी हुई है। सितंबर तिमाही में कंपनी का ग्रॉस रिफाइनिंग मार्जिन बढ़कर 8.62 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गया, जो एक साल पहले की समान तिमाही में 1.28 डॉलर था।
7,400 करोड़ रुपए का इनवेंटरी गेन
इनवेंटरी गेन के कारण कंपनी को दूसरी तिमाही में 7,400 करोड़ रुपए का लाभ हुआ, जबकि पिछले साल की समान तिमाही में कंपनी को 1,807 करोड़ रुपए का इनवेंटरी लॉस हुआ था। क्रूड में गिरावट के बाद जब कंपनी सस्ता क्रूड खरीदती है और क्रूड में तेजी आने के बाद जब ऊंचे भाव पर पेट्रोल और डीजल बेचती है, तो उसे इनवेंटरी गेन कहा जाता है। कंपनी ने मई और जून के बीच सस्ते में क्रूड खरीदा था।
672 करोड़ रुपए का फॉरेक्स लाभ
दूसरी तिमाही में कंपनी को 672 करोड़ रुपए का फॉरेक्स लाभ हुआ। एक साल पहले की समान तिमाही में 1,135 करोड़ रुपए का फॉरेक्स लॉस हुआ था। कंपनी का ऑपरेटिंग रेवेन्यू घटकर 1.15 लाख करोड़ रुपए रहा, जो एक साल पहले की समान तिमाही में 1.32 लाख करोड़ रुपए था।
कैपेसिटी युटिलाइजेशन सुधरा
कंपनी का रिफाइनरी रन रेट या कैपेसिटी युटिलाइजेशन सुधरा है। अप्रैल में रिफाइनरी रन रेट घटकर 49 फीसदी रह गया था। मई में यह 67 फीसदी पर और जून में 89 फीसदी पर आ गया। कई राज्यों में लोकल लॉकडाउन के कारण अगस्त में यह फिर से घटकर 61 फीसदी पर आ गया, जो सितंबर में बढ़कर 77 फीसदी पर और अब और बढ़कर 94 फीसदी पर आ गया।
UPL लिमिटेड को दोगुने से ज्यादा प्रॉफिट
यूपीएल लिमिटेड ने कहा कि सितंबर तिमाही में उसका कंसॉलिडेटेड शुद्ध लाभ दोगुने से ज्यादा बढ़कर 537 करोड़ रुपए पर पहुंच गया, जो एक साल पहले की समान तिमाही में 202 करोड़ रुपए था। हालांकि जून तिमाही के मुकाबले कंपनी का प्रॉफिट 18 फीसदी घट गया। जून तिमाही में कंपनी ने 653 करोड़ रुपए का कंसॉलिडेटेड नेट प्रॉफिट हासिल किया था।
ब्लू डार्ट को 41.4 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ
प्रमुख कुरियन सर्विस कंपनी ब्लू डार्ट एक्सप्रेस लिमिटेड ने कहा कि सितंबर तिमाही में उसका शुद्ध लाभ 41.4 करोड़ रुपए रहा। एक साल पहले की समान तिमाही में कंपनी ने 14 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ दर्ज किया था। इस दौरान कंपनी की कुल आय 864.4 करोड़ रुपए रही।
Lockdown ने बनाया चोर: कर्ज में डूबे 5 युवकों ने Roorkee से चोरी किए थे 42 लैपटॉप, 2 गिरफ़्तार
रुड़की. 27 अक्टूबर को रुड़की (Roorkee) से 42 लैपटॉप की चोरी का मामला हरिद्वार पुलिस ने सुलझा लिया है. पुलिस ने इस मामले में गाड़ी के ड्राइवर समेत दो लोगों को गिरफ़्तार कर उनसे 40 लैपटॉप बरामद भी कर लिए हैं. पुलिस के अनुसार इस वारदात में शामिल तीन आरोपी अभी फ़रार हैं और दो लैपटॉप भी कम हैं.
आरोपियों ने पूछताछ में पुलिस को बताया कि लॉकडाउन (Lockdown) के दौरान काम न होने की वजह से वह कर्ज़ में डूब गए थे और इसी से बाहर आने के लिए उन्होंने चोरी की योजना बनाई थी.
Noida: साइबर अपराध शाखा ने दो विदेशियों को गिरफ्तार किया
देहरादून के कर रहे थे गाड़ी का पीछा
बता दें कि 27 अक्टूबर को देहरादून से एक वाहन लैपटॉप की डिलीवरी करने के लिए रुड़की पहुंचा था लेकिन वाहन चालक ने अपने चार साथियों के साथ गाड़ी में रखे 42 लैपटॉप चोरी कर लिए थे और सभी फ़रार हो गए थे. पुलिस के अनुसार पकड़े गए आरोपी प्लान के मुताबिक वाहन का पीछा देहरादून से ही कर रहे थे. रुड़की में मौका देखते ही उन्होंने वाहन से लैपटॉप उड़ा लिए.
हरिद्वार के एसएसपी सेंथिल अब्बुदाई कृष्णराज एस ने कहा कि आरोपियों ने पूछताछ में पुलिस को बताया कि लॉकडाउन (Lockdown) के दौरान उनका काम छूट गया था और वे कर्ज़ में डूब गए थे. उन्होंने एक युवक का नकली ड्राइविंग लाइसेंस बना एक ट्रांसपोर्टर के पास नौकरी पर लगवा दिया था. धीरे-धीरे वह बतौर ड्राइवर मालिक का विश्वास जीतने में कामयाब हो गया था.
इसके बाद उन्होंने लैपटॉप चोरी करने की योजना बनाई और रुड़की में मौका देखते ही घटना को अंजाम दे डाला था.
Mumbai: मुंबई में बोरीवली के गोराई इलाके की सास-बहू और साजिश की हैरान कर देने वाली वारदात
पुलिस ने आज नारसन बॉर्डर पर चेकिंग के दौरान एक कार से 40 लैपटॉप बरामद कर दो आरोपियों को गिरफ़्तार कर लिया. बरामद किए गए लैपटापों की कीमत 23 लाख बताई जा रही है. उन्होंने बताया कि आरोपी युवक नामी कम्पनी के लैपटॉपों दिल्ली में बेचने की फिराक में थे लेकिन समय रहते हुए पुलिस ने उन्हें बॉर्डर पर ही गिरफ्तार कर लिया.
इस वारदात में शामिल तीन आरोपी अभी फरार चल रहे हैं, जिनकी सरगर्मी से तलाश की जा रही है. पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ कर रही है. पुलिस पकड़े गए आरोपियों की आपराधिक कुंडली भी खंगाल रही है.
Bollywood: बॉलीवुड एक्टर आमिर खान के ख़िलाफ़ यूपी के BJP विधायक ने थाने में दी तहरीर
गाजियाबाद. बॉलीवुड (Bollywood) एक्टर आमिर खान (Aamir Khan) एक बार फिर चर्चा में हैं, लेकिन इसकी वजह आगामी फिल्म ‘लाल सिंह चड्ढा’ नहीं है. दरअसल, दिल्ली के सटे गाजियाबाद की लोनी विधानसभा सीट से भारतीय जनता पार्टी (BJP) के विधायक नंद किशोर गुर्जर ने बॉलीवुड एक्टर आमिर खान पर कोरोना वायरस संक्रमण के चलते लापरवाही बरतने का गंभीर आरोप लगाया है.
लोनी विधायक नंदकिशोर गुर्जर ने ट्रोनिका सिटी थाने में लॉकडाउन नियमों का उल्लंघन करने के मामले में आमिर खान के खिलाफ तहरी दी है.
Mumbai: मुंबई में बोरीवली के गोराई इलाके की सास-बहू और साजिश की हैरान कर देने वाली वारदात
उन्होंने शिकायत में लिखा कि अभिनेता आमिर खान अपनी टीम के साथ लोनी आए थे, इस दौरान उन्होंने मास्क नहीं लगाया और भारी भीड़ में शामिल होकर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन भी नहीं किया. इसी के साथ उन्होंने आमिर खान के खिलाफ कोरोना महामारी के नियमों का उल्लंघन करने के लिए मुकदमा दर्ज करने की मांग की है.
दरअसल बुधवार को बॉलीवुड (Bollywood) अभिनेता आमिर खान फिल्म ‘लाल सिंह चड्ढा’ की शूटिंग के लिए गाजियबाद में स्थित ट्रॉनिका सिटी औद्योगिक क्षेत्र पहुंचे थे. आरोप है कि इस दौरान उन्होंने मास्क नहीं लगाया था. उन्होंने शारीरिक दूरी का पालन भी नहीं किया और भीड़ के साथ फोटो खिंचवाई, जबकि दिल्ली और मुंबई में कोरोना महामारी सबसे ज्यादा है. वहीं, भाजपा विधायक नंदकिशोर गुर्जर की शिकायत पर पुलिस ने बताया कि मामले की जांच कर रही है. जांच के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी.
कोरोना संकट में अमेरिकी छात्रों के मददगार बने भारतीय शिक्षक, घर बैठे दे रहे ऑनलाइन शिक्षा
वॉशिंगटन
कोरोना वायरस महामारी के कारण जब अमेरिका में स्कूल-कॉलेजों को बंद कर दिया गया तो भारतीय शिक्षक मददगार बनकर उभरे। भारत के शिक्षक ऑनलाइन माध्यमों से अमेरिका ही नहीं, दुनियाभर के कई देशों के बच्चों को घर बैठे शिक्षा दे रहे हैं। उनके इस योगदान में कई इंटरनेशनल एजुकेशन पोर्टल और ऐप प्लेटफार्म मुहैया करा रहे हैं। इस कारण पूरी दुनिया में भारत के शिक्षकों के इस योगदान को सराहा भी जा रहा है।
अमेरिकी अभिभावक भारतीय शिक्षकों से खुश
अमेरिकी अखबार वॉल स्ट्रीट जर्नल की रिपोर्ट के अनुसार, कोरोना के संक्रमण के दौरान अमेरिका के अटलांटा में कई महीनों तक स्कूलों की छुट्टी कर दी गई थी। इस दौरान शेरी अक्रेले ने सातवीं और तीसरी कक्षा में पढ़ने वाले अपने दो बच्चों की पढ़ाई ऑनलाइन माध्यम के करवानी शुरू कर दी। उन्होंने बताया कि ऑनलाइन पढ़ाई के दौरान भी मेरे बच्चों को वन-टू-वन अटेंशन मिला। हालांकि, घर से पढ़ाई करना अधिक मेहनत का काम है। फिर भी यह सस्ती है।
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ऑनलाइन एजुकेशन इंडस्ट्री से शिक्षकों के लिए बढ़ रहे अवसर
ऑनलाइन तरीकों से पढ़ने की मांग बढ़ने से भारतीय शिक्षकों के लिए नए द्वार खुल रहे हैं। ये शिक्षक कैलकुलस से लेकर कंप्यूटर प्रोग्रामिंग तक हर एक विषय अमेरिकी बच्चों को पढ़ा रहे हैं। वे अमेरिकी हाई स्कूल के छात्रों को उनके होमवर्क को पूरा करवाने में मदद कर रहे हैं। इसके अलावा कॉलेज के छात्रों को उनके अर्थशास्त्र और इंजीनियरिंग विषयों को बेहतर ढंग से समझते हैं।
भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए भी अच्छी पहल
कोरोना वायरस के कारण भारत की अर्थव्यवस्था को भारी नुकसान पहुंचा है। लेकिन, तेजी से बढ़ते शिक्षा-प्रौद्योगिकी उद्योग ने बड़ी संख्या में शिक्षकों को नौकरियां दी हैं। जिसमें कई भारतीय ऑनलाइन सीखने के साथ-साथ बहुत कुछ कर रहे हैं। तकनीकी के जानकारों को भी इस उद्योग में नौकरियां मिल रही हैं।
विदेशी कंपनियां भी रख रहीं भारतीय शिक्षक
अमेरिका के कैलिफ़ोर्निया में स्थित ऑनलाइन शिक्षा प्रदान करने वाली कंपनी Chegg ने बताया कि इस साल सितंबर तक उनके छात्रों की संख्या में 69 फीसदी की दर से बढ़ोत्तरी दर्ज की गई है। वर्तमान में कंपनी के पास 3.7 मिलियन सब्सक्राइबर हैं। कंपनी के अधिक लोकप्रिय सेवाओं में से एक होमवर्क के कठिन प्रश्नों को हल करवाने में मदद करना है। यह कंपनी इस काम के लिए भारत के हजारों शिक्षकों पर निर्भर है। जो भारत से बैठे-बैठे अमेरिकी छात्रों के सवालों का जवाब देते हैं।
(Source Navbharat Times)