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Pakistan: इमरान सरकार को बड़ा झटका, असेंबली से एक साथ इस्तीफे की तैयारी में विपक्ष।

Pakistan-Islamabad: पाकिस्तान (Pakistan) में इमरान खान सरकार और संयुक्त विपक्ष के बीच राजनीतिक घमासान अब भी जारी है। इस बीच पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की बेटी और पाकिस्तान मुस्लिम लीग- नवाज (PML-N) की बड़ी नेता मरियम नवाज शरीफ ने बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने कहा है कि इमरान सरकार के दमनकारी नीतियों के खिलाफ सभी विपक्षी नेता एक साथ असेंबली से इस्तीफा दे सकते हैं। इस बारे में कल यानी 8 दिसंबर को 11 पार्टियों वाला संयुक्त विपक्ष फैसला ले सकता है।

मरियम बोलीं- सरकार बनाएगी दबाव

मरियम नवाज शरीफ ने रविवार को लाहौर में पीएमएल-एन के कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि अगर हम एक साथ इस्तीफा देने का फैसला करते हैं तो आप सभी हमारे साथ रहें। आपमें से किसी को भी डरने की जरूरत नहीं है। सरकार आपको डराने या दबाव बनाने के लिए झूठे मामले भी दर्ज करवा सकती है। इन सभी का सामना करने के लिए आपको तैयार रहना चाहिए।

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13 दिसंबर को लाहौर में विपक्ष की बड़ी रैली

इमरान सरकार के खिलाफ 11 विपक्षी पार्टियों वाला गठबंधन पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (पीडीएम) 13 दिसंबर को लाहौर में बड़ी रैली निकालने की तैयारी में है। वहीं विपक्षी एकता से डरी इमरान सरकार हर हाल में इसे रोकने पर आमदा है। सरकार ने चेतावनी दी है कि अगर रैली निकाली गई तो कोरोना नियमों का उल्लंघन होगा और जो भी शामिल होगा उसके खिलाफ केस दर्ज किया जाएगा।

3000 से अधिक विपक्षी नेताओं पर पहले से दर्ज है केस

इमरान सरकार ने पिछले सोमवार को मुल्तान में हुई रैली के बाद विरोधी पार्टी के 3000 से अधिक नेताओं और कार्यकर्ताओं के खिलाफ प्रशासन ने मुकदमा दर्ज किया था। इन नेताओं पर आरोप है कि इन्होंने पंजाब प्रांत में कोविड-19 तथा सार्वजनिक सुरक्षा दिशा-निर्देशों का उल्लंघन कर विरोध प्रदर्शन किया। जिन नेताओं के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है, उनमें पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी के वरिष्ठ नेता और पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री यूसुफ रजा गिलानी के तीन बेटे भी शामिल हैं।

16 अक्टूबर से हो रही हैं सरकार विरोधी रैलियां

अक्टूबर से ही पाकिस्तान के 11 विपक्षी दलों का गठबंधन पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (पीडीएम) देश के अलग-अलग हिस्सों में रैली कर रहा है। इस गठबंधन की पहली रैली 16 अक्टूबर को गुजरांवाला में, जबकि दूसरी रैली 18 अक्टूबर को कराची में हुई थी। तीसरी रैली 25 अक्टूबर को क्वेटा में और चौथी रैली 22 नवंबर को पेशावर में हुई थी। सोमवार को विपक्षी दलों ने पांचवी रैली पंजाब के मुल्तान शहर में की थी। अंतिम रैली 13 दिसंबर को लाहौर में होगी।

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के वकील रूडी गिलियानी(Rudy Giuliani) कोरोना वायरस से संक्रमित

Washington।अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप(Donald Trump) ने बताया है कि उनके वकील रूडी गिलियानी (Rudy Giuliani) कोरोना वायरस(Corona Virus) से संक्रमित हो गए हैं। अमेरिका में पिछले कुछ दिनों से कोविड-19(Covid-19) के मामले लगातार बढ़ रहे हैं और ट्रंप के कई करीबी शीर्ष अधिकारी भी संक्रमित हो चुके हैं । ट्रंप ने बताया कि न्यूयार्क के पूर्व मेयर गिलियानी (Rudy Giuliani 76) कोरोना वायरस से संक्रमित हो गए। 

राष्ट्रपति चुनाव परिणामों को चुनौती देने के ट्रंप के प्रयासों की खातिर गिलियानी (Rudy Giuliani) ने हाल में कई राज्यों की यात्राएं की थीं। राष्ट्रपति ट्रंप ने रविवार को ट्वीट कर गिलियानी के संक्रमित होने की पुष्टि की और उनके जल्द स्वस्थ होने की कामना की। 

गिलियानी ने रविवार सुबह ‘फॉक्स न्यूज’ के एक कार्यक्रम में हिस्सा लिया था, जिसमें ट्रंप की ओर से कई राज्यों में दी गई कानूनी चुनौतियों पर उन्होंने चर्चा की थी। गिलियानी  (Rudy Giuliani) ने बृहस्पतिवार को जॉर्जिया में एक सुनवाई में हिस्सा लिया था, इस दौरान वह कई घंटे तक बिना मास्क के रहे। कई राज्यों के रिपब्लिकन सीनेटर भी बिना मास्क के नजर आए। गिलियानी बुधवार की रात मिशिगन गए थे, जहां उन्होंने विधायिका की सुनवाई में गवाही दी थी। उस दौरान गिलियानी (Rudy Giuliani) और उनके बगल में बैठी वकील जेना एलिस ने भी मास्क नहीं पहना था। 

जॉर्जिया के डेमोक्रेट सीनेटर जेन जोर्डन ने बृहस्पतिवार को सुनवाई में हिस्सा लिया था और उन्होंने गिलियानी (Rudy Giuliani) के मास्क नहीं पहनने पर रोष प्रकट किया। 

जोर्डन ने ट्वीट कर कहा, ‘‘मुझे पता नहीं था कि पिछले हफ्ते मैंने जिस खतरे का सामना किया वह ट्रंप के वकील की ओर से था। गिलियानी खचाखच भरे कमरे में सुनवाई के दौरान सात घंटे तक मास्क के बगैर रहे।’’ 

रिपब्लिक टीवी और अर्नब को Supreme Court से राहत नहीं।

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New delhi: रिपब्लिक टीवी (Republic TV) और अर्नब गोस्वामी (Arnab Goswami) को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) से राहत नहीं मिली है. सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने रिपब्लिक टीवी के खिलाफ सभी एफआईआर (FIR) को रद्द करने और जांच को सीबीआई (CBI) को ट्रांसफर करने की याचिका पर सुनवाई से सोमवार को इनकार कर दिया. जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा कि यह याचिका प्रकृति में महत्वाकांक्षी है. 

Supreme Court ने कहा कि आप चाहते हैं कि महाराष्ट्र पुलिस (Maharashtra Police) किसी भी कर्मचारी को गिरफ्तार न करे और केस को सीबीआई को हस्तांतरित कर दे. बेहतर है कि आप इसे वापस ले लें. याचिकाकर्ता ने याचिका वापस ले ली है. 

याचिका में कहा गया था कि सभी एफआईआर रद्द की जाएं और सभी मामलों को जांच के लिए सीबीआई को सौंपा जाए. इसके अलावा, कोई संपादकीय और अन्य कर्मचारी महाराष्ट्र पुलिस द्वारा गिरफ्तार नहीं किए जाएं. 

PM Narendra Modi ने किया वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आगरा मेट्रो प्रोजेक्ट का उद्धाटन

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने सोमवार को आगरा मेट्रो रेल प्रोजेक्ट (Agra Metro Rail Project) का वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए उद्घाटन किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि सैकड़ों वर्षों का इतिहास संजोए यह शहर (आगरा) इक्कीसवीं सदी के साथ कदमताल करने के लिए तैयार हो रहा है। आठ हजार करोड़ रुपये से अधिक का यह मेट्रो प्रोजेक्ट आगरा में स्मार्ट सुविधाओं से जुड़े मिशन को और मजबूत करेगा। बीते 6 वर्षों में यूपी के साथ ही पूरे देश में जिस स्पीड और स्केल पर मेट्रो नेटवर्क का काम हुआ वह सरकार की पहचान और प्रतिबद्धता दोनों को दर्शाता है।

कुल 8,379.62 करोड़ रुपए की अनुमानित लागत से बनने वाली आगरा मेट्रो रेल परियोजना के तहत कुल 29.4 किमी. लंबे दो कॉरिडोर का निर्माण प्रस्तावित है. ताज ईस्ट गेट से सिकंदरा के बीच लगभग 14 किमी. लंबा पहला कॉरिडोर बनेगा, जिसमें 13 मेट्रो स्टेशन होंगे. दूसरा कॉरिडोर आगरा कैण्ट से कालिन्दा विहार के बीच निर्मित होगा, जिसकी लंबाई 15.4 किमी. होगी और इसमें कुल 14 मेट्रो स्टेशन होंगे.

र्वर्चुअल संबोधन के दौरान पीएम मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने कहा, ‘दो-तीन दिनों पहले तेलंगाना, हैदराबाद में गरीब और मध्यम वर्ग ने सरकार के प्रयासों को अभूतपूर्व आशीर्वाद दिया है। आपका साथ ही मेरी प्रेरणाशक्ति है।’ पीएम मोदी ने कहा, ‘कोरोना के टीके का इंतजार है, मैं पिछले दिनों जब वैज्ञानिकों से मिला, अब टीके में ज्यादा देर होगी ऐसा कतई नहीं लगता। संक्रमण से बचाव को लेकर हमारी सावधानी में कोई कमी नहीं आनी चाहिए। मास्क- दो गज की जरूरी अभी भी बहुत जरूरी है।’

पीएम मोदी ने कहा, ‘आधुनिक सुविधाएं और कनेक्टिविटी मिलने से पश्चिमी यूपी का ये सामर्थ्य और बढ़ रहा है। देश का पहला रैपिड रेल ट्रांसपोर्ट सिस्टम मेरठ से दिल्ली के बीच बन रहा है। दिल्ली-मेरठ के बीच 14 लेन का एक्सप्रेस-वे भी जल्द ही इस क्षेत्र के लोगों को सेवा देने लगेगा।’ उन्होंने कहा, ‘जब आप साहस और समर्पण के साथ आगे बढ़ते हैं तो कोई भी बाधा आपको रोक नहीं सकती। भारत का सामान्य युवा, भारत के छोटे शहर आज यही साहस और समर्पण दिखा रहे हैं।’

इस कार्यक्रम के दौरान आगरा में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा, ‘हर वर्ष आगरा में देश और विदेश से लाखों पर्यटक आते हैं। लेकिन इको फ्रेंडली ट्रांसपोर्ट सिस्टम की कमी के चलते हमें टूरिजम इन्फ्रास्ट्रक्चर विकसित करने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था।’

आगरा मेट्रो परियोजना में कुल 29.4 किमी की लंबाई वाले दो कॉरिडोर शामिल हैं और यह ताजमहल, आगरा किला, सिकंदरा जैसे प्रमुख पर्यटक स्थलों को रेलवे स्टेशनों और बस स्टैंड को जोड़ेगा। इस परियोजना से शहर की 26 लाख आबादी को लाभ होगा। इस परियोजना के प‍हले चरण में सिकंदरा से ताज ईस्‍ट गेट कॉरिडोर तैयार किया जाएगा। अनुमान है कि पहले चरण में दिसंबर 2022 तक सिकंदरा से ताज ईस्ट गेट तक मेट्रो सेवा शुरू हो जाएगी।

किसानों के 8 दिसंबर को बुलाए गए ‘भारत बंद’ के समर्थन में अरविंद केजरीवाल

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नई दिल्ली. आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) ने नए कृषि कानूनों के विरोध में किसान संगठनों द्वारा 8 दिसंबर को किए गए “भारत बंद” के आह्वान का समर्थन किया है. दिल्ली के मुख्यमंत्री और पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) ने रविवार को कहा कि देशभर में आप कार्यकर्ता राष्ट्रव्यापी हड़ताल का समर्थन करेंगे. उन्होंने सभी नागरिकों से किसानों का समर्थन करने की अपील की.

अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट किया, ‘8 दिसंबर को किसानों द्वारा किए गए भारत बंद के आह्वान का आम आदमी पार्टी पूरी तरह से समर्थन करती है। देश भर में आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता शांतिपूर्ण तरीक़े से इसका समर्थन करेंगे। सभी देशवासियों से अपील है की सब लोग किसानो का साथ दें और इसमें हिस्सा लें’

आप नेता और दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने भी ट्वीट कर कहा कि सभी कार्यकर्ता किसानों के समर्थन में बंद में भाग लेंगे. गोपाल राय ने ट्वीट किया, ‘भाजपा सरकार द्वारा बनाए गए तीनों कृषि क़ानूनों के विरोध में किसानों द्वारा आयोजित 8 दिसम्बर को भारत बंद का राष्ट्रीय संयोजक @ArvindKejriwal जी के आह्वान पर आम आदमी पार्टी पूरे देश में करेगी समर्थन। 

उन्होंने आगे कहा की देश भर के सभी पदाधिकारी एवं कार्यकर्ता बंद को सफल बनाने में सहयोग करें।’. इसके अलावा गोपाल राय ने एक वीडियो संदेश भी जारी किया है. उसमें उन्होंने कहा, ‘यह केवल किसानों की नहीं, बल्कि सभी देशवासियों की लड़ाई है. भारत एक कृषि प्रधान देश है और यदि किसान अप्रसन्न हैं तो देश पर भी इसका असर पड़ता है. मैं सभी से प्रदर्शन में शामिल होने की अपील करता हूं.’

आपको ध्यान दिला दें कि दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक शुरू से किसान आंदोलन का समर्थन कर रहे हैं. उन्होंने अपनी पार्टी की ओर से भी किसानों की मदद करवाई है. केंद्र के नए कृषि कानून का विरोध कर रहे जो किसान दिल्ली बॉर्डर पर डटे हैं, उनके लिए खाना-पानी और रहने की व्यवस्था दिल्ली की सरकार ने करवाई है. इसके अलावा वहां एंबुलेंस-शौचालय इत्यादि भी भेजे गए हैं. डॉक्टरों की टीम भी बॉर्डर पर भेजी गई है ताकि वे आंदोलनरत किसानों की सेहत की जांच करें.

Farmers Protest: सनी देओल का TWEET वायरल, कहा- ‘कई लोग इसका फायदा उठाना चाहते हैं’

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नई दिल्ली. किसान आंदोलन (Farmers Protest) इस वक्त देश का सबसे बड़ा मुद्दा बना हुआ है. किसानों ने 8 दिसंबर को ‘भारत बंद’ की घोषणा की है और चेतावनी दी है कि अगर सरकार उनकी मांगों को नहीं मानती तो आंदोलन तेज किया जाएगा तथा राष्ट्रीय राजधानी आने वाले और मार्गों को अवरुद्ध कर दिया जाएगा. वहीं, इस मामले में अब बॉलीवुड एक्टर और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के गुरदासपुर सांसद सनी देओल (Sunny Deol) ने एक ट्वीट करते हुए कहा है कि कई लोग इसका फायदा उठाना चाहते हैं.

सनी देओल ने ट्वीट करते हुए लिखा, ‘मेरी पूरी दुनिया से विनती है कि यह किसान और हमारी सरकार का मामला है. इसके बीच में कोई भी ना आए क्योंकि आपस में बातचीत करके इसका हम हल निकालेंगे. मैं जानता हूं कि कई लोग इसका फायदा उठाना चाहते हैं और वो लोग इसमें अड़चन डाल रहे हैं. वह किसानों के बारे में बिल्कुल नहीं सोच रहे हैं, उनका अपना ही खुद का कोई स्वार्थ हो सकता है.’ सनी का यह ट्वीट अब सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है.

सनी ने आगे लिखा, ‘दीप सिद्धू, जो चुनाव के वक्त मेरे साथ था, लंबे समय से मेरे साथ नहीं है. वो जो कुछ कह रहा है और कर रहा है वो खुद अपनी इच्छा अनुसार कर रहा है. मेरा उसकी किसी भी गतिविधि से कोई संबंध नहीं है. मैं अपनी पार्टी और किसानों के साथ हूं और हमेशा किसानों के साथ रहूंगा. हमारी सरकार ने हमेशा किसानों के भले के बारे में ही सोचा है और मुझे यकीन है कि सरकार उनके साथ बातचीत करके सही नतीजे पर पहुंचेगी.’

Bulandshahr: युवती को कार में अगवा कर जंगल में किया गैंगरेप, एक आरोपी गिरफ़्तार।

Bulandshahr. यूपी के बुलंदशहर (Bulandshahr) में रविवार को एक युवती के अपहरण कर गैंगरेप (Gang Rape) का मामला सामने आया है. पीड़ित युवती के मुताबिक समुदाय विशेष के युवक द्वारा साथियों संग मिलकर कार से अगवा कर जंगलों में ले जाकर गैंगरेप करने का आरोप लगा है. पूरी घटना बीते 3 दिसंबर का बताई जा रही है. 

मामला सामने आने के बाद पुलिस ने पीड़ित युवती को मेडिकल परीक्षण के लिए जिला अस्पताल भेजा है. पुलिस ने पीड़िता की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर मुख्य आरोपी अकरम अंसारी को हिरासत में ले लिया है. जबकि दो अन्य अभियुक्त अभी भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर हैं.

 Bulandshahr: gang-raped in jungle after kidnapping a girl in a car
घटना बुलंदशहर (Bulandshahr) के छतारी क्षेत्र की है

घटना बुलंदशहर (Bulandshahr) के छतारी क्षेत्र की है. पीड़िता ने बताया कि वह अपने घर से सामान लेने के लिए दुकान पर गई थी. इसी दौरान मोहल्ले के समुदाय विशेष के युवक द्वारा अपने साथियों संग मिलकर कार से अगवा कर जंगलों में ले जाकर गैंगरेप किया. पीड़िता को मेडिकल परीक्षण के लिए बुलंदशहर जनपद के महिला जिला अस्पताल भेज दिया गया है. जहां पीड़िता का मेडिकल परीक्षण किया जा रहा है.

हालांकि पूरे मामले में एसएसपी संतोष कुमार सिंह का कहना है कि युवती द्वारा थाना छतारी में मुकदमा दर्ज कराया है. जिसमें आरोप लगाया है कि उसके साथ गैंगरेप की घटना को अंजाम दिया है. सिंह ने बताया कि पूरे मामले में गंभीरता से जांच की जा रही है. मामला आपसी लेन-देन का भी बताया जा रहा है. एसएसपी के मुताबिक पीड़िता को मेडिकल परीक्षण के लिए भेज दिया है. उन्होंने कहा कि जल्द ही दो अन्य आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा.

Corona Virus: दुनियाभर में Covid-19 के मामले 6.6 करोड़ के पार

Washington: वैश्विक स्तर पर कोरोनावायरस (Corona Virus)मामलों की कुल संख्या 6.6 करोड़ के आंकड़े को पार कर गई है, जबकि संक्रमण से होने वाली मौतें 15.2 लाख से अधिक हो गई हैं। यह जानकारी जॉन्स हॉपकिंस विश्वविद्यालय ने रविवार को दी।

विश्वविद्यालय के सेंटर फॉर सिस्टम साइंस एंड इंजीनियरिंग (सीएसएसई) ने रविवार को अपने नवीनतम अपडेट में खुलासा किया कि वर्तमान में दुनियाभर में संक्रमण (Corona Virus) के कुल मामले 66,460,498 हो गए हैं और मृत्यु संख्या 1,527,972 तक पहुंच गई है।

सीएसएसई के अनुसार, दुनिया में सबसे ज्यादा मामले अमेरिका में दर्ज किए गए हैं, जो 14,575,623 हैं। वहीं सबसे अधिक मृत्यु भी यहीं दर्ज किए गए हैं, जो 281,134 है। कोविड संक्रमण के मामलों के हिसाब से अमेरिका के बाद भारत का स्थान है। यहां 9,608,211 मामले और 139,700 मौतें दर्ज की गई हैं।

सीएसएसई के आंकड़ों के अनुसार, दस लाख से अधिक मामलों वाले अन्य देश ब्राजील (6,577,177), रूस (2,410,462), फ्रांस (2,334,626), ब्रिटेन (1,710,379), इटली (1,709-991), स्पेन (1,684,647), अर्जेंटीना (1,459,832), कोलंबिया (1,369,249), जर्मनी (1,170,095), मेक्सिको (1,168,395), पोलैंड (1,054,273) और ईरान (1,028,986) हैं।

संक्रमण से हुई मौतों के मामले अमेरिका के बाद ब्राजील 176,628 मौतों के साथ दूसरे स्थान पर है। वहीं 20,000 से अधिक मौत वाले देश मेक्सिको (109,456), ब्रिटेन (61,111), इटली (59,514), फ्रांस (55,073), ईरान (50,016), स्पेन (46,252), रूस (42,228), अर्जेंटीना (39,632), कोलंबिया (37,633), पेरू (36,195) और दक्षिण अफ्रीका (22,067) हैं।

Farmers Protest: सरकार को जल्दबाजी भारी पड़ रही है, शरद पवार

New delhi: दिल्ली बॉर्डर पर नए कृषि कानून (New Farm Law) को विरोध कर रहे किसानों के प्रदर्शन (Farmers Protest) का आज 11वां दिन है. सरकार के साथ पांचवे राउंड की बातचीत असफल रहने के बाद किसानों ने 8 दिसंबर को भारत बंद का ऐलान किया है. किसान आंदोलन पर कई राजनेताओं ने चिंता जाहिर की है, वहीं कुछ राजनीतिक दल इसका समर्थन कर रहे हैं. एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार (Sharad Pawar) ने किसान आंदोलन पर कहा कि अगर जल्द से जल्द समाधान नहीं हुआ तो देशभर के किसान पंजाब-हरियाणा के किसानों के साथ आंदोलन में शामिल हो जाएंगे.

शरद पवार ने कहा, देश की खेती और अन्न उत्पादन पर ध्यान दें तो सबसे ज्यादा योगदान हरयाणा और पंजाब के किसानों का है. विशेष तौर पर गेहूं और चावल की खेती से दुनिया के 17-18 देशों को ध्यान पहुचाने का काम इन किसानों ने किया है. अगर पंजाब और हरयाणा के किसान रास्तों पर आ रहे हैं तो इसे बहुत ही गंभीरता से लेना चाहिए.

संसद द्वारा पास किए गए नए कृषि बिल पर शरद पवार ने कहा, ‘बिल को चयन समिति के पास भेजा जाना चाहिए था और उस पर चर्चा की जरूरत थी लेकिन ऐसा नहीं हुआ और बिल पास कर दिया गया. अब सरकार को वही जल्दबाजी भारी पड़ रही है.’

शरद पवार ने कहा, ‘अगर ऐसा चलता रहा तो ये आंदोलन बस दिल्ली तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि देश के कोने-कोने के लोग किसानों के साथ खड़े होंगे. जब बिल पास किया जा रहा था, हमने सरकार से गुजारिश की थी कि उन्हें जल्दबाजी नहीं दिखानी चाहिए.’

Farmers Protest: नवजोत सिंह सिद्धू ने कविता में नाम लिए बगैर सरकार पर साधा निशाना

नई दिल्ली. देश की राजधानी दिल्ली की सरहदों (Delhi Border) पर बीते 11 दिनों से किसानों की नाराजगी (Farmers Protest) जारी है. उनकी इस नाराजगी का समर्थन करने कई बड़ी हस्तियां भी आगे आई हैं. अब इन्हीं समर्थकों में कांग्रेस के नेता और पूर्व क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू का नाम भी शामिल हो गया है. सिद्धू ने अपने चिर परिचित अंदाज में कविता के जरिए किसानों के पक्ष में आवाज उठाई है. हालांकि, उन्होंने बगैर नाम लिए सरकार पर भी निशाना साधा है.

सिद्धू ने ट्वीट किया कि आज भारत के असल बहुसंख्यक अपनी ताकत दिखा रहे हैं. किसान आंदोलन एकता में अनेकता की भावना को तैयार कर रहा है. उन्होंने लिखा कि यह एक असहमति की एक चिंगारी है, जो एक बड़े आंदोलन के जरिए जाति, नस्ल के भेद से ऊपर उठकर देश को एक कर देती है. उन्होंने कहा कि किसानों की दहाड़ पूरी दुनिया में सुनाई दे रही है. इतना ही नहीं सिद्धू ने किसानों के समर्थन में एक वीडियो भी जारी किया है. इस वीडियो में उन्होंने फैज अहमद फैज (Faiz Ahmed Faiz) की मशहूर नज्म ‘हम देखेंगे’ की कुछ पंक्तियों का इस्तेमाल किया है.

हालांकि, सिद्धू ने इस कविता में नाम लिए बगैर सरकार पर निशाना साधा है. कांग्रेस नेता कहते हैं ‘दूध को भट्टी पर रखो, तो दूध का उबलना निश्चित है. किसानों में रोष और आक्रोश जगा दो तो सरकारों, हुकुमतों, तख्तो ताज उलटना निश्चित है.’ अपनी कविता में सिद्धू ने दिल्ली चलो का नारा भी दिया है. उन्होंने कहा ‘बढ़ते भी चलो, चलते भी चलो, बाजू भी बहुत हैं सर भी बहुत. चलते ही चलो चलते ही चलो कि अब डेरे दिल्ली में डाले जाएंगे

विशेष संसद सत्र बुला सकती है सरकार

कृषि कानूनों (Farm Laws) को वापस लेने पर अड़े किसानों और सरकार के बीच 5 बार बातचीत हो चुकी है, लेकिन अभी तक सब बनेतीजा रहा. हालांकि, इन चर्चाओं के बीच सरकार ने कृषि कानूनों में संशोधन करने के संकेत दिए थे. सूत्र बताते हैं कि सरकार कृषि कानूनों में संशोधन करने का मन बना रही है और इसके लिए वह संसद का विशेष सत्र भी बुला सकती है. फिलहाल 8 दिसंबर को भारत बंद का ऐलान कर चुके किसान संगठनों और सरकार के बीच 9 दिसंबर को फिर से बातचीत होगी.

Farmers Protest: दिलजीत दोसांझ ने आंदोलन में शामिल किसानों के लिए दान किए एक करोड़ रुपए

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दिलजीत शुरुआत से ही किसान आंदोलन (Farmers Protest)का समर्थन कर रहे हैं। इसे लेकर उन्होंने सोशल मीडिया पर कई पोस्ट भी किए हैं। पंजाबी सिंगर और एक्टर दिलजीत दोसांझ शनिवार को किसानों का समर्थन करने सिंघु बॉर्डर पहुंचे। वह किसान आंदोलन को हर तरह से अपना समर्थन दे रहे हैं। 

 Diljit has been supporting the Farmers Protest since the beginning

दिलजीत दोसांझ ने दिल्ली में आंदोलन(Farmers Protest) कर रहे किसानों को सर्दी से बचाने के लिए एक करोड़ रुपए भी दान किए हैं। इन पैसों से किसानों को गर्म कपड़े और कम्बल दिलवाए जाएंगे।

इस बात का खुलासा पंजाबी सिंगर सिंघा ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो मैसेज शेयर कर किया है। इस मैसेज में उन्होंने दिलजीत के 1 करोड़ दान करने और किसानों का सर्मथन करने पर उन्हें शुक्रिया भी कहा। दिलजीत शुरुआत से ही किसान आंदोलन (Farmers Protest) का समर्थन कर रहे हैं। इसे लेकर उन्होंने सोशल मीडिया पर कई पोस्ट भी किए हैं। जिसमें उन्होंने केंद्र सरकार से किसानों की मांग पूरी करने की बात कही है।

केंद्र सरकार किसानों की मांगों को पूरा करें

दिलजीत की कई फोटो और वीडियो भी सिंघु बॉर्डर से वायरल हो रही हैं। जिसमें वह किसानों के बीच बैठे दिखाई दे रहे हैं। वहीं उन्होंने मंच पर खड़े होकर किसानों का समर्थन करते हुए अपनी बात भी रखी। दिलजीत ने कहा, हमारा केंद्र सरकार से केवल एक ही अनुरोध है कि प्लीज किसानों की मांगों को पूरा करें। यहां सभी लोग शांतिपूर्वक बैठकर आंदोलन कर रहे हैं। कोई खून खराबा नहीं हो रहा है। पूरा देश किसानों के साथ है।

दिलजीत ने किसानों की भी सराहना की और कहा, “आप सभी को सलाम, किसानों ने एक नया इतिहास रचा है। इस इतिहास को आने वाली पीढ़ियों को सुनाया जाएगा। किसानों के मुद्दों को मोड़ा नहीं जा सकता।” उनका ये स्पीच इंटरनेट पर वायरल हो रहा है।

किसानों को बताया कि सरकार सभी मुद्दों को हल निकालने की कोशिश करेगी : कृषि मंत्री

नई दिल्ली: Farmers Meet Government :  कृषि बिल को लेकर जारी किसानों के विरोध पर आज किसान संगठनों और केंद्र सरकार के बीच पांचवें दौर की बातचीत हुई. लेकिन आज हुई बैठक में भी कोई निर्णय नहीं निकला और अगली बैठक की तारीख के साथ ये मीटिंग भी समाप्त हुई. अब किसान नेताओ और केंद्र सरकार के बीच 9 दिंसबर को दोपहर 12 फिर बैठक होगी. बैठक के बाद केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर (Narendra Singh Tomar) मीडिया को बताया कि आज हुई चर्चा बहुत अच्छे माहौल में हुई.

कृषि मंत्री ने मीडिया को बताया “किसानों के साथ चर्चा का पांचवा दौर पूरा हुआ. चर्चा बहुत अच्छे माहौल में हुई. हमने कहा है कि एमएसपी जारी रहेगी इस पर किसी भी प्रकार की शंका करना बेबुनियाद है. लेकिन फिर भी किसी के मन में कोई शंका है तो सरकार उसका समाधान करने के लिए तैयार है.”

मंडी को लेकर किसानों की शंका पर नरेंद्र तोमर ने कहा, “एपीएमसी एक्ट राज्य का है और राज्य की मंडी को किसी भी प्रकार से प्रभावित करने का इरादा ना तो हमारा है और ना ही वो प्रभावित होती है. एपीएमसी मजबूत हो इसके लिए सरकार जो कर सकती है उसके लिए सरकार तैयार है. इसे लेकर कोई भी शिकायत या शंका हो तो उसका समाधान करने के लिए भी सरकार तैयार है.”

“किसानों के साथ चर्चा का पांचवा दौर पूरा हुआ. चर्चा बहुत अच्छे माहौल में हुई. केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर”

किसानों के मांगे सुझाव

कृषि मंत्री ने बताया, “आज की बैठक में सभी विषयों पर चर्चा हुई. हम लोग चाहते थे कि हमें कुछ सुझाव मिले लेकिन बातचीत के दौर में ये संभव नहीं हो सका. अब 9 तारीख को फिर बातचीत होगी. हमने किसानों को कहा है कि सरकार आपकी समस्या के समाधान के लिए तैयार है. हमने यदि कुछ सुझाव मिलते तो बेहतर होगा लेकिन हमें उनके सुझावों का अभी भी इंतजार है. अब 9 तारीख को फिर से बातचीत होगी.” 

मोदी सरकार की तारीफ की

नरेंद्र तोमर ने किसानों से अपील करते हुए कहा, “मैं किसान यूनियन से आग्रह करता हूं कि सर्दी का समय है और कोविड के काल में किसान बुजर्ग और बच्चों से कहें कि वो घर चले जाएं. मोदी जी के कार्यकाल में किसान की आय में बढ़ोतरी हुई है. सरकारी खरीद बढ़ी है. किसान समृद्धि की ओर बढ़ सके इसके लिए मोदी जी की सरकार ने किया है. किसान सम्मान निधि के द्वारा एक साल में सरकार की तरफ से 75 हजार करोड़ रु जाता है.”

उन्होंने आगे कहा, “…. इंफ्रा फंड भी मोदी ने प्रायोजित किया है. पीएम की कोशिश है हमारा किसान प्रोसेसिंग से जुड़े. मोदी जी की कोशिश है कि अगर ग्रामीण भारत मजबूत होगा तो आने वाले कल में आत्मनिर्भर भारत मूल रूप ले सकेगा. मैं किसानों को आश्वस्त करना चाहता हूं मोदी जी की सरकार किसानों के हित के प्रति पूरी तरह से प्रतिबद्ध है और आने वाले दिनों में भी रहेगी.”

किसानों के तैयार नहीं  होने पर कृषि मंत्री ने कहा, “जो कुछ होगा या कुछ किया जाएगा वो सिर्फ किसानों के हित में ही होगा, इसका भरोसा देश के किसानों को रखना चाहिए. मैं किसान यूनियन और आंदोलनरत किसानों को धन्यवाद देना चाहता हूं. कि उन्होंने अनुशासन को बनाए रखा ये बना रहे, सभी को धन्यवाद. मैं पुन आग्रह करता हूं कि स्पष्टता से कुछ मुद्दे आ जाएंगे तो समाधान आसान होगा.”

भारत बंद के कॉल पर कहा, “मैं उस पर कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता हूं. यूनियन के अपने कार्यक्रम होते हैं. भारत सरकार कई दौर की चर्चा कर चुकी है और आगे भी चर्चा के लिए तैयार है.आज बातचीत पूरी नहीं हो पाई इसलिए 9 तारीख तय हुई है. “

(SOURCE NDTV)

Health: High Blood Pressure से बचना चाहते हैं? बचाव ही है सर्वोतम उपाय।

Health: हाई ब्लड प्रेशर(High Blood Pressure) दुनिया भर की एक प्रमुख स्वास्थ्य समस्या है. पैदा होने के साथ बच्चे का ब्लड प्रेशर की सीमा सबसे कम 80-90 होती है. उम्र बढ़ने पर सीमा 180-200 तक भी पहुंच जाती है. ये स्वाभाविक प्रक्रिया है. 50 साल की उम्र में हर पांच में से एक व्यक्ति को हाई ब्लड प्रेशर(High Blood Pressure) से जूझना पड़ता है. 60-70 साल में हर तीसरे में से एक शख्स बीमारी से ग्रसित हो जाता है.

आसानी से समझिए ब्लड प्रेशर से जुड़ी अहम जानकारी

हाई ब्लड प्रेशर(High Blood Pressure) से दिल की बीमारी, किडनी रोग, लकवे, हाथ और पैर की नसों में रुकावट होने का खतरा रहता है. बीमारियों से बचने के लिए जरूरी है कि ब्लड प्रेशर की जांच कराएं और ज्यादा होने पर डॉक्टर से संपर्क करें. किसी भी उम्र में सामान्य ब्लड प्रेशर 130-80 से कम या 120-80 होना चाहिए. ब्लड प्रेशर बढ़ने के लक्षणों में सिर का भारी होना, चक्कर आना, सांस फूलने की समस्या डॉक्टर से मिलने को मजबूर कर सकती है. हाई ब्लड प्रेशर को ‘साइलेंट किलर’ भी कहा जाता है.

कई बार रूटीन चेकअप के लिए जाने पर पता चलता है कि ब्लड प्रेशर सामान्य से ज्यादा है. इस दौरान ब्लड प्रेशर आपकी किडनी, हर्ट और दिमाग को आहिस्ता-आहिस्ता नुकसान पहुंचाता रहता है. ब्लड प्रेशर की पहचान के लिए प्रारंभिक जांच जैसे, हिमेग्लोबिन, किडनी की जांच में पोटैशियम और यूरिया की मात्रा का पता लगाया जाता है. 40 साल की उम्र के हाई ब्लड मरीज को डॉक्टर शुगर, कोलेस्ट्रोल जांच की सलाह देते हैं. ब्लड प्रेशर बढ़ने का 95 फीसद कारण बढ़ती उम्र और गलत जीवनशैली है. आम तौर पर इस स्थिति में दवाइयों से ब्लड प्रेशर को कंट्रोल किया जाता है.

विशेषज्ञों ने जीवन शैली में बदलाव को बताया जरूरी

30 साल की आयु के दौरान 5 फीसद लोगों में ब्लड प्रेशर हाई होने के द्वितीय कारण जैसे किडनी, नस, ब्रेन विकार या हार्मोनल बदलाव भी हो सकते हैं. 5 फीसद लोगों को विशेषज्ञ स्थिति को देखते हुए अलग तरह की जांच कराने का सुझाव देते हैं. विशेषज्ञों का कहना है कि न सिर्फ किडनी की बीमारी से हाई ब्लड प्रेशर हो सकता है बल्कि हाई ब्लड प्रेशर के कारण भी किडनी का रोग होने का खतरा रहता है.

ऐसे लोगों का पेशाब कम आना, पैरों, आंखों में सूजन आने की शिकायत हो सकती है. कभी-कभी हाथ-पैरों की धमनियों के संकुचित हो जाने से भी चलने पर दर्द, थकान का सामना करना पड़ सकता है. हाई ब्लड प्रेशर की बीमारी जीवन शैली से जुड़ा विकार है. 95 फीसद लोगों में इसका कोई कारण नहीं होता है. गलत जीवन शैली, गलत डाइट, व्यायाम की कमी और बढ़ते वजन से भी ब्लड प्रेशर बढ़ता है. कहा जाता है कि ऐसी स्थिति में जीवन शैली का बदलाव एक दवा के तौर पर काम करता है.

विशेषज्ञों का मानना है कि दवा के इस्तेमाल से पहले जीवन शैली में बदलाव ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में अहम भूमिका निभाता है. जीवन शैली में बदलाव की एक शक्ल वजन में कमी है. 4-5 किलो वजन कम करने से ब्लड प्रेशर की सीमा 20 तक कम हो सकती है. उचित डाइट का सेवन और नियमित व्यायाम से भी आप ब्लड प्रेशर की सीमा 10-15 तक घटा सकते हैं. धूम्रपान या तंबाकू छोड़ने से भी आप ब्लड प्रेशर को 5-7 डिग्री नीचे ला सकते हैं.

BSNL का बेहद सस्ता प्लान! 250 रुपये से भी कम में हर दिन मिलता है 3GB डेटा! 40 दिन की है वैलिडिटी

कोरोना काल में घर पर रहने से मोबाइल डेटा का खर्च काफी बढ़ गया है. इसके साथ-साथ हमारे फोन बिल और रिचार्ज करने में भी काफी पैसे लग रहे हैं. ऐसे में हम अपने बाकी खर्चों को बैलेंस करने के लिए फोन के लिए कम से कम पैसों वाले रिचार्ज प्लान को खोजते हैं. लेकिन ज़्यादातर समय हम कम कीमत में ज्यादा डेटा या बेनिफिट वाले प्लान से ही रिचार्ज कराने का प्लान करते हैं. तो अगर आप भी कोई ऐसा प्लान ढूंढ रहे हैं, जिसकी कीमत ज़्यादा न हो और बेनिफिट भरपूर हो, तो BSNL आपके लिए अच्छा ऑप्शन साबित हो सकता है.

जी हां भारत संचार निगम लिमिटेड बीएसएनएल के लिस्ट में कई किफायती प्लान मौजूद है, जिससे आपके काम आसान हो सकते हैं. बीएसएनएल ग्राहकों को कुछ ऐसे प्लान भी देता है, जिनकी कीमत 250 रुपये से भी कम है, और उसमें ग्राहकों को हर दिन 3GB डेटा दिया जा रहा है. बीएसएनएल ग्राहकों के लिए 247 रुपये वाला प्रीपेड STV प्लान ऑफर करता है. आइए जानते हैं इस प्लान में मिलने वाले फायदे के बारे में…

बीएसएनएल के इस STV 247 वाले प्लान में ग्राहकों को लोकल + STD कॉलिंग के लिए अनलिमिटेड फ्री मिनट्स दिए जाते हैं. हालांकि, इसमें 250 मिनट प्रतिदिन की FUP लिमिट है. प्लान की सबसे खास बात इसमें मिलने वाला डेटा है.

इस प्लान की वैलिडिटी 30 दिनों की है. इसमें ग्राहकों को हर दिन 3 जीबी डेटा दिया जाता है. इसमें डेली डेटा की लिमिट खत्म होने के बाद इंटरनेट स्पीड घटकर 80Kbps हो जाती है. इसके अलावा प्लान में हर दिन 100 SMS भी फ्री में दिए जाते हैं.

30 नहीं, मिलेगी 40 दिन की वैलिडिटी

जैसा कि पहले भी बताया गया कि ये प्लान 30 दिन की वैलिडिटी के साथ आता है. लेकिन एक प्रमोशनल ऑफर के तहत फिलहाल STV 247 को 40 दिन की वैलिडिटी के साथ उपलब्ध कराया जा रहा है. यानी कि कुल मिलाकर इस रिचार्ज पैक में 40 दिनों के लिए 120 जीबी डेटा मिलता है. जानकारी के लिए बता दें कि STV 247 के साथ ये प्रमोशनल ऑफर 30 नवंबर, 2020 तक वैलिड है.

भारत में जल्द लॉन्च होगा Motorola का सबसे सस्ता 5G स्मार्टफोन! क्या होंगे फुल फीचर्स

मोटोरोला (Motorola) के नए फोन Moto G 5G को लेकर काफी समय से चर्चा चल रही है. लेटेस्ट अफवाहों से पता चला है कि फोन को भारत में जल्द लॉन्च किया जाएगा. Moto G 5G को ग्लोबली 6 नवंबर को Moto G9 Power के साथ लॉन्च किया गया था. ये एक किफायती मिड-रेंज सेगमेंट 5G फोन है. कुछ ऑनलाइन टिप्स्टर (online tipster) का कहना है कि Moto G 5G को भारत में जल्द लॉन्च किया जाएगा.

Moto G 5G ने हिंट दिया है कि Moto G 5G को इंडिया में जल्द लाया जाएगा. इसी तरह का एक ट्वीट Techno Ruhez द्वारा भी किया गया है, जिसमें हिंट दिया गया है कि रियलमी से पहले मिड-रेंज में 5G फोन आने वाला है, और ये शियोमी का नहीं होगा. जानकारी के लिए बता दें कि इस फोन को हाल ही में यूरोप में लॉन्च किया गया है. वहां इसे 6 जीबी तक की रैम और 128 जीबी तक के इंटरनल स्टोरेज के साथ पेश किया गया है.

फोन में 1080×2400 पिक्सल रेजोलूशन के साथ 6.7 इंच का फुल एचडी+ डिस्प्ले दिया गया है. फोन का डिस्प्ले सेंटर पंच होल के साथ आता है. इसमें 60Hz के रिफ्रेश रेट के साथ सॉफ्टवेयर के तौर पर स्नैपड्रैगन 750G प्रोसेसर लगा है.

कैमरे के तौर पर इस फोन में यूज़र्स को तीन रियर कैमरे मिलेंगे. इसमें 48 मेगापिक्सल का प्राइमरी कैमरा दिया गया है, जो सैमसंग के GM1 लेंस से लैस है. बाकी इसमें 8 मेगापिक्सल का एक अल्ट्रा-वाइड ऐंगल और एक 2 मेगापिक्सल का मैक्रो लेंस दिया गया है. सेल्फी के लिए इस फोन के फ्रंट में 16 मेगापिक्सल का कैमरा दिया है.

ये फोन एंड्रॉयड 10 ऑपरेटिंग सिस्टम पर काम करता है. पावर के लिए फोन में 5000mAh की बैटरी लगी है, जो कि 20 वॉट के फास्ट चार्जिंग सपॉर्ट के साथ आता है.

Health: डाइट में कई तरीकों के सलाद (salad) को शामिल करने के हैं फायदे, जानिए कैसे तैयार करें

Health: अक्सर लोग कच्ची सब्जी या सलाद खाने को पसंद नहीं करते हैं. लेकिन, इसके बावजूद ताजा फल और सब्जी का हर दिन सेवन आपके संपूर्ण स्वास्थ्य (Health) के लिए आवश्यक है. ज्यादा सब्जी खाने के लिए आप क्या करते हैं? ये सवाल उतना मुश्किल नहीं जितना आप सोचते हैं. वर्तमान समय में कई दिलचस्प तरीकों से आप अपनी डाइट(Diet) को ज्यादा हेल्दी (Healthy)और विविध बना सकते हैं. कुछ सबसे सरल डिश को सब्जी मिलाकर अत्यधिक पौष्टिक और ज्यादा स्वादिष्ट बनाया जा सकता है.

भोजन के साथ सलाद खाने के फायदे

मिसाल के तौर पर, सब्जी पोहा, उपमा, डोसा, इडली, खिचड़ी, दाल, चावल इत्यादि डाइट में अत्यधिक सब्जी शामिल करने के पहले से ही दिलचस्प तरीके हैं. इसके अलावा, काचुम्बर सलाद या साइड डिश के तौर पर कटी हुई सब्जियों की छोटी सेवा भी भोजन में फाइबर जोड़ने का एक प्रभावी उपाय है और उन्हें प्रकृति में अधिक विविध बना देता है.

फिटनेस ट्रेनर कायला इटिनेस ने इंस्टाग्राम पोस्ट किया है. उन्होंने अपने इंस्टाग्राम पोस्ट के कैप्शन में लिखा है, “मैं आम तौर से अपने भोजन में एक साइड सलाद शामिल करना पसंद करती हूं, विशेषकर अगर मेरे मुख्य भोजन में पहले से बहुत ज्यादा ताजा सब्जियां ना हों.”

उन्होंने प्याज, टमाटर, ककड़ी, चेरी टमाटर से बने सलाद की एक तस्वीर साझा की. उन्होंने समझाया, “ये सलाद का शानदार उदाहरण है, अगर मैं पास्ता डिश, चावल के साथ मछली, करी, खा रही होती तो उसमें जोड़ती. मैं बस ताजा टमाटर, ककड़ी, लाल प्याज काटती और फिर जैतून तेल के साथ मौसमी फल, नींबू रस, नमक और काली मिर्च शामिल करती.”

सब्जी के सेवन को बढ़ाने का है तरीका

ये सब्जी के सेवन को बढ़ाने का सबसे दिलचस्प तरीका है और मूल सलाद आसानी से तैयार किया जा सकता है. स्वाद में भी ये बेहतर है और सरल भोजन जैसे दाल, रोटी और सब्जी में भी जोड़ा जा सकता है. अपनी डाइट को हेल्दी और विविध बनाने के लिए ज्यादा सब्जियों को शामिल करने के तरीकों को सोचें. अधिक फाइबर खाने का एक प्रभावी तरीका विभिन्न सब्जियों को जोड़ने से हो सकता है. फाइबर युक्त फूड कब्ज और अन्य पाचन मुद्दों को रोकने में मदद कर सकते हैं.

Farmers Protest: किसान को चारों दिशाओं से घेरने वाले हैं ये कानून, योगेंद्र यादव

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(News Source NBT)

कृषि कानूनों को लेकर किसान आंदोलित (Farmers Protest) हैं। उन्हें लगता है कि तीन कृषि कानून उनका भविष्य बर्बाद कर देंगे। सरकार का कहना है कि नए कानून से कृषि का ढांचा बदलेगा और किसानों की स्थिति में भी सुधार होगा। आखिर इन तीन कानूनों से किसानों को क्या दिक्कतें हैं जो सरकार नहीं समझ पा रही? इस बारे में किसान आंदोलन में अहम भूमिका निभा रहे योगेंद्र यादव से बातचीत के मुख्य अंश:

सरकार और किसानों के बीच बातचीत के कई दौर हो चुके हैं लेकिन कोई नतीजा नहीं निकल रहा। आखिर ये बातचीत इतनी खिंच क्यों रही है?

क्योंकि बातचीत हो ही नहीं रही। सरकार मन बनाकर बैठी है कि वह किसानों की जरूरत के अलावा बाकी सभी बातें मान लेगी। किसान तीन कृषि कानूनों को रद्द करने से कम पर तैयार नहीं हैं। सरकार इन कानूनों पर बात करने को तैयार नहीं है। सरकार अभी भी पुराने खेल में है। आंदोलनकारियों को लड़ा दिया जाए, बहका दिया जाए या फिर थका दिया जाए। सरकार इसी में व्यस्त है। कभी वह कमिटी की बात करती है तो कभी कुछ और। किसान चाहते हैं कि सरकार अहंकार छोड़कर उन मुद्दों पर बात करे, जिनसे वे चिंतित हैं।

बातचीत में आपको क्यों नहीं शामिल किया गया?

इसका जवाब तो अमित शाह दे सकते हैं जिन्होंने खुद फोन करके किसान नेताओं से कहा कि बाकी सब तो आ सकते हैं लेकिन योगेंद्र यादव को बातचीत के लिए न लाएं। अमित शाह को शायद लगा कि अगर योगेंद्र यादव नहीं होंगे तो किसानों की बात मजबूती से नहीं रखी जा सकेगी। सरकार की चालाकियों को किसान समझ नहीं पाएंगे। लेकिन अब वे जमाने बीत गए। अब किसान नेता मजबूत हैं।

क्या आपको लग रहा है कि कोई बीच का रास्ता निकल सकता है?

हर बात में तो बीच का रास्ता नहीं निकल सकता। मान लीजिए पत्रकारों से कहा जाए कि वे रोज ऑफिस जाने से पहले थाने में हाजिरी लगाएं। उसका विरोध हो और फिर सरकार कहे कि बीच का रास्ता ये है कि अब सप्ताह में सभी दिन की बजाय सिर्फ तीन दिन हाजिरी लगाएं तो क्या यह बीच का रास्ता उचित होगा? वही स्थिति इस आंदोलन की भी है। सरकार कथित तौर पर एक सौगात किसान के मत्थे मढ़ना चाहती है लेकिन किसान उसे लेने से मना करता है तो उसमें किसान कहां गलत है? यह सही है कि किसान पराली कानून पर बात कर सकता है। एमएसपी को कैसे और बेहतर किया जाए, इस पर भी बात हो सकती है लेकिन तीन कृषि कानूनों पर कोई समझौता नहीं हो सकता। वे तो सरकार को वापस लेने ही होंगे।

लेकिन कानून रद्द करने के लिए भी तो सरकार को संसद जाना होगा। इसमें वक्त लगेगा…

यह सरकार तो अध्यादेश पर चल रही है। इस मामले में भी अध्यादेश ले आए और इन कानूनों को रद्द कर दे। या चाहे तो संसद का आपात सत्र भी बुला सकती है।

अगर कृषि कानून रद्द करने के लिए सरकार नहीं मानती तो क्या ये आंदोलन इसी तरह दिल्ली के बॉर्डर पर चलता रहेगा या फिर इसे कोई और रूप देने की भी किसानों की तैयारी है?

किसानों का तो राष्ट्रव्यापी आंदोलन चल रहा है। आगे भी चलता रहेगा। किसान सर्दी में दिल्ली की सीमाओं पर मोर्चा बनाकर बैठा है तो उसकी वजह सरकार ही है। बातचीत के कई दौर के बाद अब सरकार कह रही है कि कृषि कानूनों पर हम सोचना शुरू करते हैं। सरकार ने पहले क्यों नहीं इस मांग पर सोचा? उम्मीद करनी चाहिए कि सरकार किसानों की इस मांग को स्वीकार करेगी और ये कानून रद्द करेगी।

इस तरह के आंदोलन लंबा चल जाएं तो बिखराव की आशंका भी पनपती है। क्या आपको भी ऐसा लगता है?

सरकार ने प्रयास किए हैं लेकिन सफल नहीं हुई। डराने, थकाने, लड़ाने के कई प्रयास हुए। राकेश टिकैत से अलग से बात करने की कोशिश की लेकिन अगले दिन वे किसानों के साथ ही आ गए। अब जितनी देर हो रही है, आंदोलन और मजबूत हो रहा है। किसानों की तादाद बढ़ रही है।

इन तीन कृषि कानूनों में ऐसा क्या है कि किसान उन कानूनों को रद्द करने से कम पर तैयार ही नहीं हो रहे?

ये तीन कानून किसानों को चार दिशाओं से घेरने वाले हैं। समझ लीजिए कि सरकार पुरानी कृषि मंडी बंद करना चाहती है। ये टूटे छप्पर वाली है और सरकार कह रही है कि ये टूटा छप्पर हटा लेंगे तो किसान को नीला सुंदर आसमान दिखेगा। सच ये है कि अगर पुरानी मंडी के सामने प्राइवेट कंपनी की नई मंडी आई तो एक दो बरस में पुरानी मंडी बैठ जाएगी और फिर किसान को प्राइवेट मंडी पर ही निर्भर रहना पड़ेगा। इसी तरह दूसरा कानून कॉन्ट्रैक्ट का है, जिससे किसान बंधुआ मजदूर बन जाएगा और तीसरा आवश्यक वस्तु वाले कानून के मामले में किसान की फसल के दाम गिर जाएंगे।

अगर हम ये मान लें कि ये तीनों कृषि कानून किसानों के हित में नहीं हैं तो भी क्या किसानों को उनके मौजूदा हाल पर छोड़ देना ठीक रहेगा? क्यों न कृषि में निवेश बढ़े, पूंजीपति पैसा लगाएं और कृषि का आधारभूत ढांचा मजबूत हो? इसमें एतराज क्या है?

आपकी बात सही है कि कृषि आधारित ढांचा मजबूत हो लेकिन इसके लिए प्राइवेट सेक्टर क्यों, सरकार खुद क्यों नहीं निवेश करती? सरकार की कोशिश ये है कि कृषि को प्राइवेट सेक्टर के हवाले करके अपने हाथ झाड़ ले। आज की सचाई यह है कि हमारी कृषि नीति ही किसान विरोधी है। अब तक जो सरकारें आईं, वे सब किसान विरोधी रही हैं। हमारी नीति कृषि केंद्रित तो है लेकिन किसान केंद्रित नहीं। कितनी उपज हो, कितना निर्यात हो, इस पर बात होती है लेकिन किसान को क्या मिलना चाहिए और क्या मिल रहा है, इस पर सरकार बात नहीं करती। कृषि में आमूचल परवर्तन के लिए सरकार खुद कृषि क्षेत्र में निवेश करे। खेती की इनपुट लागत कम करने के तरीके अपनाए जाएं। किसानों को कृषि जोखिम से बचाने के लिए योजना लाई जाए। वैसी नहीं, जो कृषि बीमा की योजना है और फेल हो चुकी है।

Health: वज़न घटाने के लिए भूखे रहना सेहत पर भारी पड़ सकता है, कई दिक्कतों का करना पड़ सकता है सामना

Health: जब भी बात वज़न(weight) घटाने की होती है लोग सबसे पहले एक ही तरीका अपनाते हैं, भूखा रहने का. लेकिन आपको बता दें कि वज़न कम करने का ये तरीका आपको पतला करे न करे, पर आपको बीमार ज़रूर कर सकता है. इसलिए अगर आपने पतला होने के लिए भूखा रहने का ऑप्शन सोचा है तो इसे दिमाग से निकाल दीजिये. क्योंकि बॉडी को वक़्त पर आहार की ज़रूरत होती है और अगर वो आहार उसे सही टाइम से न मिले तो उसके खतरनाक नतीजे कुछ इस तरह से हो सकते हैं:-

1. डाइजेशन प्रॉब्लम

भूखा रहना आपके लिए डाइजेशन प्रॉब्लम क्रिएट कर सकता है. क्योंकि अगर आप कुछ खायेंगे ही नहीं तो फ्रेश भी नहीं हो पाएंगे. नतीजन आपको बबासीर और पित्त की पथरी जैसी बीमारियों का सामना करना पड़ेगा. इसलिए भूखे रहकर पतला होने का ऑप्शन छोड़िये और एक्सेसाइज़ अपनाइए.

2. डिहाइड्रेशन

पतला होने के लिए भूखा रहना आपके सामने डिहाइड्रेशन की दिक्कत खड़ी कर सकता है. जिसकी वजह से आपको कम यूरिन आने की शिकायत हो सकती है जो आगे चलकर किसी सीरियस डिजीज का रूप भी ले सकती है. इसलिए आपके लिए बेहतर यही होगा कि भूखे रहने का आईडिया कैंसिल कर दिया जाए.

3. ग्लोलेस चेहरा

जब आप पतला होने के लिए भूखा रहते हैं तो धीरे-धीरे आपके चेहरे की रौनक गायब होने लगती हैं और आपके चेहरे पर आपकी उम्र दिखने लगती है. इसलिए पतला होने के लिए भूखे रहने का ऑप्शन बिल्कुल न चुने. क्योंकि खोई हुई चेहरे की रौनक वापस लाना बहुत ही मुश्किल है.

4. लीवर पर खतरा

लीवर खाना पचाने का काम करता है. ऐसे में अगर वज़न कम करने के लिए आप भूखे रहने का तरीका अपनाते हैं तो आपको गैस की प्रॉब्लम हो सकती है और साथ ही लीवर में सूजन भी आ सकती है. इसलिए पतला होने के लिए भूखे न रहें. बॉडी की ज़रूरत के हिसाब से खाना ज़रूर खाएं.

5. ज़रूरत से ज़्यादा थकान

खाना आपकी बॉडी को एनर्जेटिक बनाए रखने में मदद करता है ऐसे में अगर बॉडी को सही मात्रा में खाना नहीं मिले तो शरीर जल्दी थकने लगता है. थोड़ा सा भी काम करने के बाद थकान और कमज़ोरी महसूस होने लगती है. इसलिए भूखे मत रहिये बल्कि पतले होने के लिए कोई और ऑप्शन चुनिए.

GHMC: चुनाव के नतीजों पर बोले ओवैसी, बीजेपी हमेशा एक कैसेट दोहराती है

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ग्रेटर हैदराबाद निगम चुनाव (GHMC) में भारतीय जनता पार्टी 48 सीटों के साथ दूसरे नंबर पर है जबकि असदुद्दीन ओवैसी की ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) 44 सीटों के साथ तीसरे स्थान पर है। इसको लेकर असदुद्दीन ओवैसी ने कहा है कि उनकी पार्टी ने जहां लोगों से विकास की बात की वहीं भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने ध्रुवीकरण की हर संभव कोशिश की।

ओवैसी ने आरोप लगाया कि बीजेपी ने रोहिंग्या, बांग्लादेशी, अफगानिस्तानी आदि मुद्दों को उठाया। यही नहीं, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को लेकर ओवैसी ने कहा कि जहां पर वह (योगी) आए वहां पर बीजेपी हार गई।

असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, ‘बीजेपी हमेशा एक ही कैसेट दोहराती है। इसमें रोहिंग्या, बांग्लादेशी, अफगानिस्तानी आदि बातें रहती हैं। अगर इन्हें इन मुद्दों पर चुप करा दिया जाए तो ये लोग गूंगे नजर आएंगे।’

99 से घटकर 55 पर आई TRS

जीएचएमसी चुनाव में टीआरएस ने सबसे ज्यादा 55 सीटें जीतीं। हालांकि, पार्टी 99 से 55 पर आ गई है। वहीं कांग्रेस के खाते में इस बार भी सिर्फ दो सीटें आईं। अपने नगरसेवकों को संदेश देते हुए ओवैसी ने कहा कि वे शनिवार से ही अपना काम शुरू कर दें। टीआरएस की जीत पर ओवैसी ने कहा कि वह अभी भी तेलंगाना में एक दुर्जेय पार्टी है। साथ ही तेलंगाना की क्षेत्रीय भावना का प्रतिनिधित्व करती है। ओवैसी ने कहा, ‘मुझे यकीन है कि पार्टी प्रमुख केसीआर चुनाव में पार्टी के प्रदर्शन की समीक्षा करेंगे।’

Corona Update: मध्य प्रदेश में 31 मार्च तक 8वीं तक के स्कूल बंद रहेंगे

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संक्रमण (Corona) के बढ़ते मामलों को देखते हुए मध्य प्रदेश सरकार ने बड़ा ऐलान किया है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि कोविड के चलते प्रदेश में पहली से 8वीं तक के क्लास 31 मार्च तक बंद रहेंगी। साथ ही, 5वीं और 8वीं की बोर्ड परीक्षाएं भी नहीं होंगी।

आगामी एकेडमिक सेशन 1 अप्रैल 2021 से प्रारंभ होगा। पहली से 8वीं तक प्रोजेक्ट वर्क के आधार पर मूल्यांकन किया जाएगा। कक्षा 10वीं व 12वीं की बोर्ड परीक्षाएं ली जाएंगी। इनकी क्लासेज जल्द शुरू होंगी। क्लास में कोविड गाइडलाइन का पालन किया जाएगा। क्लास 9 व 11 के स्टूडेंट्स को हफ्ते में एक या दो दिन स्कूल बुलवाया जाएगा।